जिस समय यह हादसा हुआ, चौगान गांव का किसान निहाल सिंह खेत में शौच करने के लिए आया हुआ था। उसने पूरा हादसा देखा तो शौच भूलकर पुलिस को फोन पर सूचना दी। ग्राम प्रधान राकेश सिकरवार को सूचित किया। कुछ ही देर में एत्मादपुर पुलिस मौके पर आ गई। प्रधान अपने साथ ग्रामीण और जेसीबी मशीनें लेकर आ गए। नाले में गिरी बस को जेसीबी से फाड़कर लोगों को बाहर निकाला। पुलिस के सामने ही लोगों ने तड़प-तड़प कर दम तोड़ दिया। 29 लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। मृतकों में एक डेढ़ साल की बच्ची, एक 16 साल की किशोरी और एक महिला भी शामिल है। सूचना मिलते ही डीएम एनजी रविकुमार और एसएसपी बबलू कुमार समेत कई आलाधिकारी भी घटनास्थल पर पहुंच गए। राहत और बचाव कार्य शुरू कराया।
हादसे के बाद रक्षा मंत्री राजनाथ ने इस बारे में सीएम योगी आदित्यनाथ से बात की। साथ ही उन्होंने जिला मजिस्ट्रेट से बात कर घायलों के समुचित इलाज के निर्देश दिए। वहीं भाजपा के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्ढा ने भी इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना पर दुख प्रकट किया है। उन्होंने ट्वीट करके कहा है कि शोक संतप्त परिवारों के प्रति मेरी हार्दिक संवेदना हैं। मैं घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करता हूं।
1.सिद्धार्थ पुत्र अवधेश निवासी जगनपुर, लखनऊ
2.सत्यप्रकाश शर्मा पुत्र मेवाराम शर्मा निवासी लखनऊ
3.धीरज पुत्र प्रेमप्रकाश निवासी गोमतीनगर, लखनऊ
4.अविनाश अवस्थी पुत्र अंशुमान निवासी लखनऊ
5.सत्यप्रकाश तिवारी पुत्र मुकेश चंद्र निवासी मुनईपुरवा, गोंडा
6.आदित्य कश्यप पुत्र दीप गुप्ता निवासी गोरखपुर
7.प्रेमचंद्र पुत्र रामकुमार निवासी खेरी, कुरुक्षेत्र, हरियाणा
8.विजय बहादुर सिंह पुत्र सुरेन्द्र बहादुर निवासी रायबरेली
9.हजूर आलम पुत्र मंसूर अली निवासी वेस्ट दिल्ली
10.प्रयाग मिश्रा
11.दीपक सिंह पुभत्र महावीर प्रसाद निवासी राजाजीपुरम, लखनऊ
12.धीरेन्द्र प्रताप सिंह पुत्र पारसनाथ सिंह निवासी बंगला चौक के पास, पुणे
13. अंकुर श्रीवास्तव पुत्र सूर्यवंश निवासी गांधीनगर
14.आकाश श्रीवास्तव पुत्र सतीशचंद्र, निवासी इंद्रानगर, लखनऊ
15.इफ्त खान अहमद पुत्र आफताब अहमद निवासी सेक्टर 11, इंद्रानगर, लखनऊ
16.अमित कुमार पुत्र रामेश्वर निवासी बासगांव, गोरखपुर
17.दीपक कुमार पांडेय पुत्र सीताराम पांडेय निवासी शाहपुर, भोजपुर, बिहार
19. महिला (अज्ञात)
20. डेढ़ साल की बच्ची (अज्ञात)
21. अन्य 9 अज्ञात
1. प्रकर्ष, उम्र 19 वर्ष, आजमगढ़
2. दिलीप, उम्र 35 वर्ष, लखनऊ
3. सुनीता, उम्र 35 वर्ष, रायबरेली
4.अशोक कुमार, उम्र 34 वर्ष, हापुड़
5. सोनी, उम्र 39 वर्ष, मिर्जापुर
5. साहब, उम्र 28 वर्ष, अमेठी
6. ऋषि यादव, उम्र 24 वर्ष, बाराबंकी
7. प्रवेश कुमार, उम्र 31 वर्ष, आजमगढ़
8. संजीत कुमार, उम्र 44 वर्ष, सुल्तानपुर
9. मनीष कुमार, उम्र 33 वर्ष, बाराबंकीट
10. अज्ञात
11. मंजू शर्मा, उम्र 57 वर्ष, गाजियाबाद
12. गौरव, उम्र 31 वर्ष, लखनऊ
13. जुनैद आलम, उम्र 21 वर्ष, मुरादाबाद
14. प्रतीक
15. अर्पित, उम्र 24 वर्ष, इलाहाबाद
16. मो. अदीब, उम्र 33 वर्ष, लखनऊ
17. प्रियांशी, उम्र 23 वर्ष, लखनऊ
यमुना एक्सप्रेस वे पर हुए भीषण हादसे के बाद पीड़ितों का हाल जानने के लिए उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री डॉ दिनेश शर्मा और प्रदेश के परिवहन मंत्री स्वतंत्रदेव सिंह आगरा पहुंचे। इस दौरान रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के बेटे पंकज सिंह भी साथ रहे। आगरा के तमाम जनप्रतनिधि और भाजपा नेता भी घटना स्थल पर पहुंचे। डिप्टी सीएम और परिवहन मंत्री सबसे पहले घायलों से मिलने के लिए सीधे ट्रांस यमुना कॉलोनी स्थित कृष्णा हॉस्पिटल पहुंचे। डिप्टी सीएम ने बताया कि दुर्घटना के कारण और तमाम पहलुओं पर चांज कर यह कमेटी 24 घंटे के अंदर अपनी जांच रिपोर्ट देगी।
बाराबंकी के ऋषिपाल ने बताया 40 सेकेंड का दिल दहला देने वाला पूरा दृश्य
आगरा। यमुना एक्सप्रेस वे पर हुआ हादसा कितना भयानक था, इसका अंदाजा वैसे तो हादसे की तस्वीरों से लगाया जा सकता है, लेकिन इस हादसे का दिल दहला देने वाला दृश्य बताया बाराबंकी के ऋषि यादव ने। ऋषि इसी बस में सवार थे और लखनऊ से दिल्ली जा रहे थे। ये एक्सीडेंट सुबह 4 बजकर 20 मिनट पर हुआ। उस समय बस में सवार यात्री सो रहे थे। बस जब यमुना एक्सप्रेस वे के डिवाइडर से घिसटी, तो तेज आवाज आई। इसके बाद जो हुआ वो बहुत भयानक था।
ऋषि यादव ने बताया कि लखनऊ में विगत रात्रि वह बस का इंतजार कर रहे थे। दिल्ली की ओर जाने वाली सभी एसी बसें फुल थीं। ऐसे में जनरथ की स्पेशल बस की व्यवस्था हुई। वे बस में लखनऊ से करीब 10 बजे सवार हुए। दो सीटों को छोड़कर बस की सभी सीटें फुल थीं। बस गंतव्य की ओर रवाना हुई। सुबह चार बजकर 20 मिनट पर बस सवार सभी लोग सो रहे थे। वे भी नींद में थे। अचानक घिसटने की तेज आवाज आई, जिससे सुनकर वे हड़बड़ाहट में उठे। कुछ समझ पाते, तब तक हवा में कुछ पल के लिए बस घूमती नजर आई और इसके बाद तेज धमाके के साथ बस पानी में गिरी। ये पूरी घटना होने में महज 40 सेकेंड का समय लगा।
ऋषि यादव ने बताया ने बताया कि बस में पानी भरने लगा। लोग नींद में थे, बस में दम घुटता जा रहा था। बस के शीशे चटक चुके थे। उन्होंने बस के शीशे में हाथ से मुक्का मारना शुरू किया, तो शीशा टूट गया। शीशा टूटते ही वे बस से बाहर निकल आए। हाथ में चोट थी, इसलिए नाले के दलदल से निकलना भी बेहद मुश्किल हो रहा था। इस दौरान एक युवक वहां जो बचाव कार्य में लगा था, उसने मदद की। कुछ और लोगों को भी उसने इस तरह से निकाला।