scriptसिंहस्थ बाद फिर नए रूप में नजर आएगा यह मंदिर, मंगल दोष की होती है यहां पूजा… | Temple of Mangal Nath will be seen in new form | Patrika News
उज्जैन

सिंहस्थ बाद फिर नए रूप में नजर आएगा यह मंदिर, मंगल दोष की होती है यहां पूजा…

मंदिर के तृतीय फेज के तहत १२ करोड़ से होगा निर्माण, पीडब्ल्यूडी ड्रांइग-डिजाइन व डीपीआर तैयार करने में जुटा

उज्जैनOct 16, 2017 / 11:48 am

Gopal Bajpai

patrika

Simhastha 2016,Mangal nath temple,temple construction,

उज्जैन. सिंहस्थ के दौरान मंगलनाथ मंदिर के हुए कायाकल्प के बाद एक बार फिर मंदिर का स्वरूप बदलेगा। इस बार करीब १२ करोड़ रुपए से मंदिर का शिखर नया रूप लेगा तो मंदिर के खुले क्षेत्र में छत का निर्माण होगा। इसके लिए नए सिरे से ड्राइंग-डिजाइन व डीपीआर बनाई जा रही है। शासन से मंजूरी मिलने के बाद मंदिर में निर्माण कार्य शुरू होगा।

सिंहस्थ से पहले मंगलनाथ मंदिर में दो चरणों मेें करीब २० करोड़ रुपए के काम करवाए गए थे। इसमें नया प्रवेश द्वार, पुजारियों के लिए चेंजिंग रूम, भातपूता कक्ष, बांउड्रीवॉल व अन्य निर्माण करवाए गए थे। उस समय सिंहस्थ के चलते मंदिर के शिखर व दूसरी मंजिल को खुला छोड़ दिया गया था। अब इसी काम को पीडब्ल्यूडी दोबारा से शुरू करेगा। इसके लिए नए सिरे से डीपीआर बनाई जा रही है। इसमें मंदिर के शिखर को ऊंचा कर और भव्य रूप दिया जाएगा। शिखर पर आकर्षक पत्थर व अन्य डिजाइन की जाएगी। पीडब्ल्यूडी अधिकारी बता रहे हैं कि वर्तमान में मंदिर का शिखर नजदीक से दिखाई नहीं देता है। नए रूप में शिखर भव्य रूप लेगा। इसके अलावा मंदिर के ऊपर छत को भी ढंका जाएगा। फिलहाल यह छत खुली हुई है। इसके अलावा अन्य छोटे-बड़े निर्माण भी किए जाएंगे।

बदल गया मंदिर का व्यू
सिंहस्थ में हुए काम के बाद मंगलनाथ मंदिर का व्यू पूरी तरह बदल गया है। पहले पश्चिम की ओर से सीढि़या थी। इसे अब पूर्व की ओर कर दिया गया। पूरे मंदिर में लाल पत्थर लगा दिए गए। लाल पत्थरों का प्रवेश द्वार बनाया गया है। मंदिर परिसर में बगीचा, शिप्रा तट की ओर रास्ता बनने से मंदिर पहले की तुलना में भव्य हो गया है।

शासन की मंजूरी लेना बाकी
पीडब्ल्यूडी की ओर से मंदिर के शिखर व छत को लेकर आर्किटेक्ट से डिजाइन बनवाई जा रही है। निर्माण कार्य की डीपीआर बनाई जा रही है। इसे शासन को मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। इसमेें करीब १२ करोड़ रुपए खर्च होना बताया जा रहा है। फंड जारी होते ही निर्माण कार्य शुरू होगा।
&मंगलनाथ मंदिर में तृतीय फेज के तहत शिखर व दूसरी छत बनवाई जाना है। इसकी डीपीआर व आर्किटेक्ट से डिजाइन बनवाई जा रही है। शासन की मंजूरी मिलने पर निर्माण कार्य शुरू किया जाएगा।
राजेंद्र कुमार जोशी, ईई, पीआईयू

Hindi News / Ujjain / सिंहस्थ बाद फिर नए रूप में नजर आएगा यह मंदिर, मंगल दोष की होती है यहां पूजा…

ट्रेंडिंग वीडियो