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उदयपुर

दो विभागों की पसोपेश में नहीं बन रही सड़क, झोली में डालकर मरीजों को ले जाना मजबूरी

पीडब्ल्यूडी- कई बार भेजे प्रस्ताव, लेकिन वन विभाग से नहीं मिली एनओसी
वन विभाग- हमारे पास कोई प्रस्ताव पेंडिंग नहीं, आए तो भेजेंगे आगे

उदयपुरDec 29, 2024 / 11:50 pm

Shubham Kadelkar

कलात ग्राम पंचायत में दूर-दूर तक सड़क का नामोनिशान नहीं, सिर्फ पहाड़ी व दुर्गम रास्ते

सराड़ा(सलूम्बर). पंचायत समिति सराड़ा की कलात ग्राम पंचायत में ग्रामीणों को आजादी के 77 वर्ष बाद भी सड़क की सौगात का इंतजार है। यहां एक भी सड़क नहीं होने से पूरा गांव का संपर्क जिला मुख्यालय व अन्य ग्राम पंचायतों से कटा हुआ है। इसे लेकर पत्रिका की टीम ने कलात गांव में जाकर ग्राउंड लेवल पर स्थिति जानीं। यहां दूर-दूर तक सड़क का नामोनिशान नहीं था। टीम की छानबीन में सामने आया कि यहां दो विभागों की लापरवाही के चलते आज भी सड़क नहीं बन पा रही है। सार्वजनिक निर्माण विभाग के अधिकारियों का कहना है कि हमने कई बार सड़क बनाने के प्रस्ताव व स्वीकृतियां निकाली, लेकिन वन विभाग ने सड़क बनाने की स्वीकृति नहीं दी। इधर, वन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि पिछले लंबे समय से हमारे पास सार्वजनिक निर्माण विभाग की ओर से सड़क को लेकर कोई प्रस्ताव नहीं आया। पिछले साल दो प्रस्ताव परसाद व गामडी क्षेत्र से आए थे, जिसे हमने तुरंत स्वीकृत कर दिया। लेकिन कलात पंचायत से सड़कों की स्वीकृति के लिए कोई प्रस्ताव नहीं आया। बताया कि करीब एक हेक्टेयर क्षेत्र में सड़क निर्माण को लेकर परमिशन हमारे क्षेत्राधिकार में है, लेकिन इससे ज्यादा होने पर उच्च अधिकारियों के पास प्रस्ताव बनाकर भेजे जाते है।

दूर-दूर तक कोई नहीं मिला, नेटवर्क भी नहीं उपलब्ध

पड़ताल के दौरान टीम जब कलात गांव के लिए निकली तो उबड़-खाबड़ रास्तों व पत्थरों के चलते बाइक तक पंचर हो गई। लगभग 5 किमी दायरे में कोई ग्रामीण व दुकान नहीं मिली। जैसे-तैसे गांव पहुंचे तो गांव में लोग भी कम ही नजर आए। कुछ ग्रामीण मिले तो उन्होंने बताया कि गांव में कोई सुनने वाला नहीं है। यह ऐसा गांव है जहां नेटवर्क तक नहीं है। यहां एक इंच तक सड़क नहीं होने से लोग गाड़ी तक नहीं रखते। ऐसे में यहां पंचर की दुकानें भी नहीं है।
ये बोले जिम्मेदार

दिवंगत विधायक अमृतलाल मीणा ने कई सड़कों की स्वीकृतियां निकाली थी, उसमें से कुछ सड़ककलात ग्राम पंचायत क्षेत्र से भी थी, लेकिन किन कारणों से सड़क का कार्य नहीं हो पाया, पता करते है। मैं प्रयास कर शीघ्र दोनों विभागों से बात कर कलात पंचायत में सड़क बनाने का प्रस्ताव बनाकर राज्य सरकार को भेजूंगी।
-शांता देवी मीणा, विधायक, सलूम्बर

विभाग की ओर से कलात क्षेत्र में सड़कों की स्वीकृतियां निकालने का प्रयास किया, प्रस्ताव भी राज्य सरकार को भेजा, स्वीकृति भी मिली, लेकिन वन विभाग की ओर से एनओसी नहीं देने के कारण सड़कों का निर्माण नहीं हो पाया। अब दोबारा सड़कों के प्रस्ताव बनाकर वन विभाग को उनकी स्वीकृति के लिए भेजकर क्षेत्र में सड़कें बनाने का प्रयास करेंगे।
-डीएन सिंह, अधिशासी अभियंता, सार्वजनिक निर्माण विभाग, सलूम्बर

पीडब्ल्यूडी हमारे वन क्षेत्र में सड़कों के निर्माण को लेकर कोई प्रस्ताव फाइल भेजते है तो हम उच्च अधिकारियों को भेज कर एनओसी दिलाने का प्रयास करेंगे। हमारे पास अभी कोई भी प्रस्ताव पेंडिंग नहीं है। पिछले वर्ष दो प्रस्ताव आए थे, उन दोनों पर हमने सड़क निर्माण की स्वीकृतियां निकाल दी। कलात क्षेत्र से कोई भी प्रस्ताव हमारे पास नहीं आया।
-खेमराज मीणा, क्षेत्रीय वन अधिकारी, सराडा

ग्रामीणों की पीड़ा… कब मिलेगी सुविधा

हमारे क्षेत्र में पहुंचने के लिए पगडंडी का रास्ता भी पूरा नहीं बना हुआ है। बार-बार मांग करते है, लेकिन कोई इस ओर ध्यान नहीं देता। लोग नदी-नालों का पानी पीने को मजबूर है और फिर बीमार हो जाते है।
-शंभू लाल मीणा, हल्दुदरा

कलात पंचायत क्षेत्र में सड़कों को लेकर हमने कई बार ग्राम सभा से प्रस्ताव बनाकर भेजे। लेकिन आज तक सड़कें नहीं बनने से लोग परेशान है। जनप्रतिनिधियों से लेकर अधिकारियों को ज्ञापन देकर मांग की, परंतु किसी ने ध्यान नहीं दिया। आज भी क्षेत्र के लोग आदिमानव की तरह जिंदगी जीने को मजबूर है।
वालतरा मीणा, ग्रामीण

गांव में कोई बीमार हो जाता है तो सिर्फ प्रार्थना ही सहारा है, क्योंकि इलाज तो संभव ही नहीं है। उसके बावजूद गंभीर होने पर चार लोग कंधे पर या झोली में डालकर ले जाते है और उपचार कराते है।
प्रेमदास मीणा, घोड़ाफला

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