Deoli-Uniara Update: देवली-उनियारा सीट से निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा ने एरिया मजिस्ट्रेट अमित चौधरी के थप्पड़ जड़ दिया और हाथ पकड़कर खींचा। इस मामले में आरएएस एसोसिएशन ने मीणा की गिरफ्तारी की मांग की। सरकार का फेलियर रहा कि नरेश को अरेस्ट करने के बाद उसके समर्थक उसे छुड़ा ले गए। आगजनी, तोड़फोड, बवाल के बाद अब पुलिस अधिकारियों ने टोंक में डेरा डाला है और बड़े स्तर पर फोर्स को बुलाया गया है। आज नरेश मीणा को अरेस्ट किया जा सकता है। इस बीच इस घटनाक्रम के दौरान हुए बवाल और तोड़फोड़ के नुकसान का आंकलन किया जा रहा है। यह सारी वसूली नरेश मीणा से की जा सकती है।
कल दोपहर से अब तक किसी भी बड़े नेता का कोई बयान सामने नहीं आया है। बूंदी, अजमेर, जयपुर और आसपास के जिलों से आरएसएसी बटालियन, लोकल पुलिस और एटीएसफ की कपंनियां देवली उनियार भेजी गई हैं। आज सवेरे उन्होनें पैदल मार्च पास्ट भी किया है। यह पूरा बवाल देवली उनियारा विधानसभा सीट में आने वाले समरावता गांव में हुआ है।
यह था मामला: नगरफोर्ट तहसील की ग्राम पंचायत कचरावता के समरावता गांव में जबरन वोटिंग का विरोध करते हुए नरेश मीना ने प्रशासन पर पक्षपात का आरोप लगाया। बहस के दौरान एरिया मजिस्ट्रेट व मालपुरा एसडीएम अमित चौधरी के साथ विवाद बढ़ गया और नाराज होकर मीना ने थप्पड़ मार दिया। इसके बाद उन्होंने प्रशासन के खिलाफ धरना शुरू कर दिया। मामले को बढ़ता देख प्रशासन ने मौके पर अतिरिक्त पुलिस जाप्ता बुलाया और स्थिति पर काबू पाया।
इतने बवाल के बाद भी नरेश मीणा के तेवर ढीले नहीं हुए हैं। नरेश के सोशल मीडिया अकाउंड से मानों पुलिस को चुनौती दी गई है। लिखा गया है कि मैं ठीक हूं… ना डरे थे और ना डरेंगे… आगे की रणनीती बता दी जाएगी…..। लेकिन इस बीच पुलिस वीडियो के आधार पर उपद्रव करने वालों की पहचान कर उनको काबू करना शुरू कर चुकी है। अब तक करीब साठ लोगों को हिरासत में लिया गया है। बड़ी संख्या में सरकारी और निजी सम्पत्ति को नुकसान पहुंचाया गया है।
समरावता गांव में हालात बिगड़ने की सूचना पर एसपी विकास सांगवान भी मौके पर पहुंच गए हैं। इससे पहले एडिशनल एसपी ब्रजेन्द्र सिंह भाटी भारी पुलिस बल और अर्ध सैनिक बल के जवानों को तैनात थेण् समरावता गांव में भारी संख्या में पुलिस बल तैनात है। डीआईजी और आईजी भी पहुंचे हैं और नरेश को अरेस्ट करने की योजना तैयार की जा रही है। बताया जा रहा है कि नरेश मीणा पर साल 2004 से लेकर अब तक 15 मुकदमें जयपुर, बांरा, दौसा और अन्य शहरों के थानों में दर्ज किए गए हैं। इनमें से अधिकतर केस मारपीट, बवाल और सरकारी सम्पत्ति को नुकसान पहुंचाने के हैं। करीब नौ केस तो पिछले डेढ़ से दो साल में ही दर्ज किए गए हैं।
देवली-उनियारा में बुधवार को उपचुनाव के लिए मतदान सम्मपन होने के बाद देर शाम को निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीना के समर्थकों, ग्रामीणों की ओर से पुलिस पर किए गए पथराव ओर हमले के बाद घायल सुरक्षाकर्मियों का टोंक सआदत अस्ताल में इलाज चल रहा है। घायलों में महिपाल, जितेन्द्र , विरेन्द्र रमेश, बद्रिलाल, रामप्रसाद, रामभजन, योगराज, सुरेन्द्र, बाबूलाल, हनुमान, जयप्रकाश, दयाराम मुकेश सहित एक महिला कांस्टेबल शामिल है। जिनमें से एक की अंगुली में गंभीर चोट बताई जा रही हैं।