सिद्ध पुरुष के नाम पर ठगी करने वाला अंतरराज्यीय गिरोह धराया, दो आरोपियों को यूपी से पकड़ा
शहर में महिला के साथ की थी लाखों की ठगी, पुलिस अधीक्षक ने प्रेस कांफ्रेंस कर किया मामले का खुलासा
पुलिस अधीक्षक ने प्रेस कांफ्रेंस कर किया मामले का खुलासा
छिंदवाड़ा। शहर के शांति कॉलोनी बरारीपुरा निवासी महिला के साथ कुछ लोगों ने सिद्ध पुरुष बनकर लाखों की ठगी को अंजाम दिया था। शिकायत के बाद कोतवाली पुलिस ने अज्ञात आरोपियों के खिलाफ ठगी का मामला दर्ज कर तलाश शुरु कर दी थी। इस मामले में पुलिस ने एक अंतरराज्यीय गिरोह को पकडऩे में सफलता पाई है। गिरोह के दो आरोपियों को पुलिस ने उत्तरप्रदेश से पकड़ा है जबकि दो अन्य आरोपी अभी फरार है। इस ठगी के मामले का पुलिस अधीक्षक मनीष खत्री, सीएसपी अजय राणा, आरआई आशीष तिवारी, कोतवाली टीआई उमेश गोल्हानी ने कंट्रोल रूम में प्रेस कांफ्रेंस कर खुलासा किया है।
– यह रहा था घटनाक्रम
10 फरवरी 2024 को बरारीपुरा निवासी रंजना (60) आशीष भूषण ने लिखित शिकायत में बताया था कि बुधवार सात फरवरी 2024 को वह घर लौट रही थी। बुधवारी बाजार स्थित एक स्कूल के पास एक युवक मिला और सिद्ध पुरुष के बारे में जानकारी ले रहा था, इसी दौरान एक और व्यक्ति आया तथा तभी तीसरा व्यक्ति सिद्ध पुरुष बनकर सामने आया और बातों में उलझा दिया। अपने आप को सिद्ध पुरुष बताने वाले ने महिला पर संकट की बात कही और इसके निवारण के लिए अपने सारे जेवर व नकदी घर से लाने की कह दिया था। जेवर पवित्र करने की बात करते ही महिला अपने घर से 75 हजार की नकदी और सोने के जेवर लेकर आ गई। आरोपी ने जेवर और नकदी को पोटली में बांध दिया तथा पोटली को शाम को खोलने व धागे को दरवाजे पर बांधने की बात कहीं थी। महिला घर पहुंची तो उसे शक हुआ तथा बात अपने पति को बताई थी। पोटली खोली गई तो उसमें टाइल्स के टुक्ड़े मिले थे।
– कार का किया उपयोग, जिसमें लगी थी फर्जी नंबर प्लेट व फास्ट टैग
कोतवाली पुलिस इस ठगी के मामले के बाद से समीप के सीसीटीवी खंगालने में जुट गई थी। इसी दौरान सीसीटीवी में एक लक्जरी कार नजर आई जिसमें उत्तरप्रदेश का नंबर लगा हुआ था तथा संदिग्ध बैठे हुए थे। पुलिस इसी कार की तलाश में जुट गई तथा उत्तरप्रदेश के कई जिलों को 18 फरवरी से 29 फरवरी तक 12 दिन तक कोतवाली की टीम ने खंगाला था। आरोपियों ने वारदात के बाद कार पर कई फर्जी नंबर प्लेट लगाई तथा उसी फर्जी नंबर का फास्ट टैग का उपयोग कर रहे थे। पुलिस टीम ने कार की जानकारी जुटाई तथा सबसे पहले रोशन (34) पिता मोहम्मद रफी निवासी पटेल कॉलोनी इंडियन गैस एजेंसी के पीछे बछरावास रायबरेली उत्तरप्रदेश को पकड़ा। जिससे पुलिस ने पूछताछ की तो उसने ठगी की वारदात करना कबूला था। पूछताछ में उसने तीन अन्य साथियों के नाम बताए थे जिसमें से पुलिस ने दबिश देकर कन्नन उर्फ हकीक (37) पिता सफीक अहमद निवासी नकराही थाना देहात सुलतानुपर उत्तरप्रदेश को पकड़ा। अन्य दो आरोपियों सलमान अली (32) पिता मोहम्मद अली निवासी पटेल कॉलोनी जिला रायबरेली उत्तरप्रदेश तथा रिसद उर्फ राजेश (48) पिता बच्चन अली निवासी गल्ला मंडी के पीछे आजाद नगर रायबरेली उत्तरप्रदेश को पकडऩे पुलिस पहुंची लेकिन आरोपी फरार हो गए।
– एमपी व उत्तरप्रदेश में 10 मामले दर्ज
ठगी के मामले में पकड़े गए आरोपियों पर एमपी व उत्तरप्रदेश में के थानों में तकरीबन 10 आपराधिक प्रकरण दर्ज है तथा पुलिस जिले में घटित अन्य अपराधों के मामले में जांच कर रही है। आरोपियों से पुलिस ने सोने के जेवरात तथा 21500 रुपए जब्त किए है वहीं कार व मोबाइल भी बरामद किया है। ठगी के अंतरराज्यीय गिरोह को पकडऩे में कोतवाली टीआई उमेश गोल्हानी, एसआई जितेंद्र यादव, आरक्षक रविंद्र सिंह ठाकुर, सागर मर्सकोले, शैलेंद्र राजपूत, सायबर सेल आदित्य रघुवंशी, नितिन सिंह, सीसीटीवी आरक्षक महेंद्र सल्लामे की मुख्य भूमिका रही है। पुलिस अधीक्षक मनीष खत्री ने टीम को 10 हजार रुपए ईनाम देने की घोषणा की है।
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