बंग्लादेशी नागरिक ( Bangladeshi citizen ) दो सगे भाई कई वर्षों से सहारनपुर में अपनी पहचान छुपाकर रह रहे थे और 17 नवंबर को लखनऊ एटीएस ने इन्हें सहारनपुर के सिंभालका से गिरफ्तार कर लिया था। पकड़े गए दोनों भाई फारुख और इकबाल के पास से फर्जी दस्तावेज बरामद हुए थे। एटीएस ने दोनों भाइयों से काफी पूछताछ की थी, आशंका थी कि दोनों किसी षड्यंत्र के तहत भारत में रह रहे हैं।
पूछताछ के दौरान एटीएस को यह भी पता चला कि दोनों भाइयों में से एक इकबाल की पत्नी रूबी अपने तीन बच्चों 8 वर्षीय रहमान 4 वर्षीय रुखसार और 2 वर्षीय फरहान के साथ सहारनपुर के ही सिम्भलका गांव में रहती है। इसी सूचना पर पुलिस ने इकबाल की पत्नी रूबी को भी गिरफ्तार कर लिया और उसके साथ ही तीनों बच्चों को भी जेल भेज दिया गया।
पूछताछ के दौरान रूबी ने बताया कि वह पिछले कई वर्षों से सहारनपुर के गांव सिंभालका में रह रहे थे। उन्होंने शहर आकर अपने कागजात बनवाए थे। पांचों के कागजात बनाने के लिए दलाल ने उनसे करीब 3000 रुपये लिए थे और 3000 रुपये में ही उन सभी के आधार कार्ड और अन्य दस्तावेज तैयार कर दिए थे। पुलिस अब उस एजेंट की तलाश कर रही है जिसने इन के फर्जी कागजात बनाने में मदद की है। पुलिस उस सेंटर की भी तलाश कर रही है जहां पर इनके कागजात तैयार किए गए।