गांव वालों ने की थी जिलाधिकारी से शिकायत
छापा मारने गई टीम ने मीडियाकर्मियों को बताया कि ग्रामीणों ने ही इस फर्जी सेंटर की शिकायत की थी। ग्रामीणों ने बताया कि जनसेवा केंद्र पर खुलेआम आधार कार्ड बनाए जा रहे हैं। इस शिकायत पर ई-डिस्ट्रिक्ट मैनेजर अमित कुमार टीम के साथ सोमवार को इस कथित केंद्र पर पहुंचे। टीम ने पाया कि मौके पर 200 से 500 रुपये लेकर आधार कार्ड बनाए जा रहे थे और पुराने आधार कार्ड में संशोधन कराए जा रहे थे। टीम ने केंद्र संचालकों से लाइसेंस मांगा तो कुछ नहीं दिखा पाए। इसके बाद टीम ने मौके से मशीन और कम्प्यूटर जब्त कर लिए। इसी दौरान संचालकों ने मौके पर अपने लोगों के बुला लिया और टीम के साथ अभद्रता करने लगे। टीम ने इसकी सूचना पुलिस को दी तो पुलिस को देखकर ये लोग भागने लगे। पुलिस ने भागते हुए दो लोगों को पकड़ लिया।
केंद्र संचालक बोले, ”लो डीएम से बात करो सीएम को जानते हैं हम”
पूछताछ करने पर टीम को इन लोगों ने बताया कि उत्तराखंड के बैंक ऑफ बड़ौदा की आईडी पर आधार सेंटर चलाया जा रहा है लेकिन इनके पास यूपी की कोई परमिशन नहीं मिली। इस पर टीम ने सेंटर में रखी आधार कार्ड बनाने की मशीन समेत लैपटॉप और अन्य उपकरण अपने कब्जे में लेकर गाड़ी में रख लिए। आरोप है कि इस पर इन लोगों ने टीम की गाड़ी को घेर लिया इस पर तुरंत टीम ने उपजिलाधिकारी को मौके की हालत से अवगत कराया गया तो मौके पर पुलिस टीम भेजी गई। पुलिस टीम को देखकर ये लोग भागने लगे लेकिन पुलिस ने दो लोगों के पकड़ लिया। इन्होंने टीम से कहा कि ”तुम सामान नहीं ले जा सकते लो डीएम से बात करो, हमारे यहां सीएम भी चाय पीते हैं” उपजिलाधिकारी सदर अंकुर वर्मा का कहना है कि गोपनीय सूचना के आधार कार्रवाई की गई है। शिकायत थी कि 200 रुपये में आधार कार्ड बनाए जा रहे हैं। मौके पर पाया गया कि केंद्र संचालकों के पास कोई लाइसेंस नहीं था। दो लोगों के हिरासत में लिया गया है। जांच पड़ताल की जा रही हैं। मामला दर्ज कराया गया है। दोनों को पकड़ लिया गया है, जिनकी खिलाफ केस दर्ज कराया जा रहा है।