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MBBS Exam: एमबीबीएस और एमडी-एमएस के परचों का होगा ऑनलाइन मूल्यांकन, विश्वबिद्यालय ने लिया निर्णय पिछले साल नीट में प्रदेश के 43 हजार से ज्यादा छात्र शामिल हुए थे। इनमें 22 हजार से ज्यादा क्वालिफाइड हुए थे।सरकारी मेडिकल कॉलेजों की 82 फीसदी सीटें स्टेट कोटे की होती है। इसमें
छत्तीसगढ़ मूल के छात्रों को एडमिशन मिलता है। जबकि 15 फीसदी सीटें ऑल इंडिया व 3 फीसदी सीटें सेंट्रल पूल की होती है। जबकि निजी कॉलेजों में 42.5-42.5 फीसदी सीटें स्टेट व मैनेजमेंट तथा 15 फीसदी सीटें एनआरआई कोटे के लिए आरक्षित होती हैं। प्रदेश में नेहरू मेडिकल कॉलेज रायपुर में सबसे ज्यादा 230 सीटें हैं। दुर्ग में 200 सीटों पर पढ़ाई हो रही है।
विशेषज्ञों के अनुसार नीट की तैयारी के लिए छात्रों को फोकस होना होगा। नीट कठिन तो है ही लेकिन एमबीबीएस की पढ़ाई और कठिन है। हालांकि इससे बिना घबराए, जो छात्र तैयारी करते हैं, वे सफल होते हैं। पिछले साल
एमबीबीएस की सभी सीटें भर गईं थीं। दरअसल एमबीबीएस की सीटें कभी खाली नहीं रहतीं। यही कारण है कि एक-एक सीट के लिए काफी मारामारी है।