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रायपुर

ये है ‘मनेंद्रगढ़ का लक्ष्मण’, 25 एनकाउंटर में 41 माओवादियों का सफाया

राजधानी के परेड ग्राउंड में चौथी बार मिला वीरता पुरस्कार

रायपुरJan 28, 2020 / 12:09 am

Tabir Hussain

ये है 'मनेंद्रगढ़ का लक्ष्मण', 25 एनकाउंटर में 41 माओवादियों का सफाया

माओवाद इलाके में साहस का परिचय देते लक्ष्मण।

ताबीर हुसैन @ रायपुर. देश की रक्षा का जिम्मा लिया है तो डर कैसा। अब तो जीना-मरना देश के लिए ही है। यह कहना है जिला राजनांदगांव गातापारा थाना प्रभारी लक्ष्मण केंवट का। उन्हें रिपब्लिक डे पर राजधानी के परेड ग्राउंड में वीरता पुरस्कार से नवाजा गया। यह चौथी बार है कि उन्हें यह सम्मान मिला। मनेंद्रगढ़ निवासी लक्ष्मण की पोस्टिंग बतौर सिपाही 2007 में सूरजपुर में हुई। बस्तर में बढ़ते माओवादी आतंक को रोकने शासन ने एक स्कीम निकाली। इसमें ऐसे थानों के लिए वन टाइम विभागीय पदोन्नति परीक्षा ली गई जहां माओवाद का प्रभाव ज्यादा था। बस्तर में आतंक बढ़ रहा था। ऐसे क्षेत्रों में माओवदी से लडऩे के लिए 10 साल रहना था। लक्ष्मण ने इसके लिए परीक्षा दी और सिर पर कफन बांधकर निकल पड़े। उन्हें 8 साल हो चुके हैं। वैसे तो अब तक 100 मुठभेड़ का सामना कर चुके हैं लेकिन 25 ऐसे एनकाउंटर हैं जिसमें वे टीम लीडर रहे और 41 माओवादी ढेर हुए हैं। पिता रामाश्रय केंवट कोल इंडिया बिलासपुर में हैं, मां कलावती देवी गृहिणी। इस बार उन्हें वीरता पुरस्कार इसलिए मिला क्योंकि 6 जनवरी 2016 बीजापूर थाना आवावल्ली वे प्रभारी थे। इन्हें एक टीम लीड करने का मौका मिला जिसमें एसपीएफ, सीआरपीएफ और जिला बल के जवान थे। गोतुम जंगल में मुठभेड़ हुई जिसमें 1 महिला माओवादी ढेर हो गई। बाद में दो अन्य माओवादी भी मारे गए।

किसान का बेटा, मकसद- माओवाद रूपी खरपतवार का सफाया

वीरता पुरस्कार से सम्मानित बलरामपुर निवासी रमाकांत तिवारी वर्ष 2012 में बतौर सब इंस्पेक्टर भर्ती हुए। बीजापुर में हुई एक मुठभेड़ के दौरान इन्हें आउट ऑफ प्रमोशन मिली और टीआई बने। पिता किसान हैं। उन्होंने बताया, बात वर्ष 2017 की है। अबूझमाड़ इलाके में मैं अपने साथियों के साथ सर्चिंग कर लौट रहा था। माओवादियों ने एंबुश लगाया था। इसे तोड़कर हमने 2 माओवादी को ढेर किया। 25 जनवरी को एक और घोषणा रमाकांत के लिए खुशियां लेकर आई जब उन्हें अगले 15 अगस्त में पुन: वीरता पुरस्कार के लिए चुना गया। ये सम्मान उन्हें वष्र 2016 में हुई मुठभेड़ के लिए दिया जाएगा। इसमें 3 माओवादी ढेर हुए थे। रमाकांत की पढ़ाई अंबिकापुर में हुई है।
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आईपीएस एलिसेला 15 अगस्त को होंगे सम्मानित

आईपीएस कल्याण एलिसेला 15 अगस्त में वीरता पुरस्कार से सम्मानित होंगे। इसकी घोषणा 25 जनवरी को हुई। वे अभी ईओडब्ल्यू में पदस्थ हैं। फरवरी 2016 में महाराष्ट्र से लगे कुटरू में एक मुठभेड़ हुई जिसमें 3 माओवादियों का सफाया हो गया। इसमें से 1 माओवादी पर 5 लाख का इनामी था। हथियार भी बरामद हुए। एलिसेला 2011 बैच के आईपीएस हैं।
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