अपनी चुनावी रैली के दौरान रविवार को पीएम मोदी ने सबसे पहले ‘डबल’ पंच के जरिए विरोधियों पर निशाना साधा। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा- बिहार में एक तरफ डबल इंजन की सरकार है तो दूसरी तरफ डबल-डबल युवराज भी हैं। एक तो जंगल राज के युवराज भी हैं। ऐसे ही डबल युवराज को आप लोगों ने उत्तर प्रदेश में भी पहचाना था। यहां पीएम मोदी का इशारा अखिलेश यादव और राहुल गांधी के यूपी विधानसभा चुनाव के दौरान किए गए गठबंधन की ओर था।
पीएम मोदी के चुनावी रैली में ‘डबल’ पंच के बाद कांग्रेस ने भी तुरंत अपनी प्रतिक्रिया दी। कांग्रेस प्रवक्ता ने भी अपनी प्रतिक्रिया में ‘डबल’ का तड़का लगाया, लेकिन यहां उनका डबल का मतलब कुछ और था। सुरजेवाला ने कहा, पीएम मोदी 2015 चुनाव में नीतीश कुमार को 18वां सदी की मानसिकता वाला बता गए थे। अब उन्हें छपरा में ‘डबल’ इंजन बना रहे हैं। सच तो ये है कि ये डबल धोखे की सरकार है। एक ‘जुमलेबाज’ और एक ‘धोखेबाज’, बिहार की जनता करेगी दोनों का इलाज।
पीएम मोदी और कांग्रेस प्रवक्ता के डबल पंच के घमासान ने इस सब्द को खास जगह दे डाली। ऐसे में भला राजद सुप्रीमो लालू यादव कैसे पीछे रहने वाले थे। उन्होंने पीएम मोदी के डबल इंजन और डबल युवराज वाले बयान पर तीखा पलटवार किया। लालू यादव ने कहा कि- यह डबल इंजन नहीं बल्कि ट्रबल इंजन है। लॉकडाउन में फंसे मजदूरों को वापस लाने के वक्त डबल इंजन कहां था?
पीएम मोदी के डबल इंजन वाले बयान के बाद गठबंधन के सीएम उम्मीदवार तेजस्वी यादव ने भी पीएम मोदी ने चौबल यानी चार सवाल पूछ डाले। तेजस्वी ने कहा- आदरणीय प्रधानमंत्री जी आपने यह नहीं बताया कि डबल इंजन सरकार के चलते बिहार में बेरोजगारी दर 46.6 फीसदी क्यों है? एनसीआरबी के आंकड़ों में बिहार अव्वल क्यों है? प्रदेश के हर दूसरे घर से पलायन क्यों होता है? और नीति आयोग के मुताबिक शिक्षा और स्वास्थ्य के क्षेत्र में बिहार पीछे क्यों है?