मामला
महाराष्ट्र (
Maharashtra ) के
लातूर का है। जहां पिछले दिनों के प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की गई। इसमें जिला प्रमुख अफजल खान और पूर्व मेयर अख्तर शेख ने कहा कि ‘नागरिकता (संशोधन) अधिनियम ( CAA ) और प्रस्तावित राष्ट्रीय रजिस्टर ऑफ सिटीजन्स ( NRC ) संविधान के खिलाफ और मुसलमानों के खिलाफ है।
ननकाना साहेब पर पत्थरबाजी के बाद मशहूर गीतकार जावेद अख्तर का बड़ा बयान हमारे समुदाय के साथ अन्याय हो रहा है। इस अन्याय को सक्षम करने वाली पार्टी के साथ रहना हमारे लिए तर्कहीन और समझ से परे है। ‘
पीएम मोदी और शाह को लिखा पत्र
लातूर बीजेपी इकाई के लगभग 100 मुस्लिम सदस्यों ने पार्टी छोड़ दी। खान ने कहा कि उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और राज्य नेतृत्व को पत्र लिखा, जो अधिनियम पारित होने के तुरंत बाद अपने आरक्षण को व्यक्त करते हैं। लेकिन उन्हें कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली, इसलिए उन्होंने इस्तीफे का सहारा लिया।
लातूर के बीजेपी अल्पसंख्यक सेल के सचिव हामिद शेख ने कहा कि ज्यादातर मुसलमान कभी भी बीजेपी को वोट नहीं देते हैं, जो लोग ऐसा करते हैं, उनके जैसे लोगों के कारण। ‘लेकिन यहां तक कि हम
सीएए का बचाव नहीं कर सकते।
मौसम को लेकर जारी हुई बड़ी चेतावनी, देशभर के इन राज्यों में पड़ेगी कड़ाके की ठंड बीजेपी की अल्पसंख्यक मोर्चा की केरल राज्य कार्यकारिणी समिति का हिस्सा सईद थहा बाफकी थंगल ने भी समुदाय की आशंकाओं को दूर करने के लिए केंद्र की अनिच्छा के कारण 29 दिसंबर को इस्तीफा दे दिया।