वहीं कोरोना के कहर ने एक बार फिर चार धाम यात्रा पर अपना असर दिखाना शुरु कर दिया है, जिसके चलते उत्तराखंड के चार धामों की यात्रा पर वहां की सरकार ने रोक लगा दी गई है।
दरअसल Corona Pandemic की बढ़ती रफ्तार को देखते हुए उत्तराखंड सरकार ने निर्णय लिया है कि इस बार चारों धाम में केवल पुजारी ही पूजा कर सकेंगे।
इस साल 2021 में होने वाली Char Dham Yatraको स्थगित कर दिया गया है। ऐसे में भक्त देव दर्शन से इस बार दूर रह सकते हैं, सूत्रों के अनुसार इस संबंध में सरकार जल्द ही ऑनलाइन दर्शन की व्यवस्था करा सकती है।
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व्यवस्था का विकल्प
उत्तराखंड चार धाम देव स्थानम मैनेजमेंट बोर्ड का कहना है कि भले ही यात्रा पर रोक हो लेकिन लोग घर बैठे ही पूजा / पाठ / भोग / आरती के लिए तो ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करा ही सकते हैं, जिसके लिए उन्हें आने की आवश्यकता भी नहीं होगी।
वहीं जहां तक ऑनलाइन दर्शन का सवाल है तो इस संबंध में उत्तराखंड चार धाम देव स्थानम मैनेजमेंट बोर्ड का भी मानना है कि अभी तक तो ये व्यवस्था नहीं की गई है, लेकिन यदि ये रोक बनी रही तो सरकार शायद ऐसी व्यवस्था का विकल्प ऑनलाइन दर्शन के तहत भी ढ़ूंढ़ सकती है।
इधर, मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत के अनुसार चारधाम (Char Dham) के कपाट तो तय तिथियों को ही खुलेंगे, मगर फिलहाल यात्रा स्थगित रहेगी। वहीं आने वाले दिनों में परिस्थितियों को देखते हुए स्थानीय निवासियों को अनुमति देने के बारे में निर्णय लिया जाएगा।
ऐसे समझें उत्तराखंड के चार धाम…
दरअसल हिंदुओं में चार धाम के रूप में बद्रीनाथ, जगन्नाथ पुरी, रामेश्वरम व द्वारिका आते हैं, वहीं उत्तराखंड के चार धामों में बद्रीनाथ,केदारनाथ, गंगोत्री व यमनोत्री आते हैं और इनकी यात्रा को छोटी चार धाम यात्रा के नाम से भी जाना जाता है।
इस बार 14 मई को यमुनोत्री मंदिर के कपाट खुलने के साथ ही चार धाम यात्रा शुरू होनी थी, लेकिन कोरोना का संक्रमण एक बार फिर तेज होने के चलते सरकार को इसे निलंबित करने का कदम उठाना पड़ा।
मालूम हो साल 2020 में भी कोरोना के संक्रमण के चलते उत्तराखंड सरकार ने चार धाम यात्रा पर रोक लगा दी थी। इसके पहली जुलाई से श्रद्धालुओं के लिए चार धाम यात्रा शुरू की थी। जुलाई के अंतिम सप्ताह में राज्य सरकार ने कुछ शर्तों के साथ अन्य राज्यों के श्रद्धालुओं को चार धाम यात्रा पर आने की अनुमति दी थी।
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दरअसल उत्तराखंड की प्रसिद्ध चारधाम यात्रा के तहत श्रद्धालु उत्तराखंड स्थित बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री की यात्रा में लाखों लोग शामिल होते हैं। जिसके तहत देश के अलग-अलग राज्यों से भक्त यहां पहुंचते हैं।