पाली के हिम्मत नगर और मूल रूप से गुड़ा श्यामा गांव के रहने वाले जगदीश की पत्नी मानसिक रूप से बीमार है। वह भोजन तक ढंग से नहीं बना पाती है। जगदीश के दो बच्चे है। एक पांच साल का और दूसरा 6 वर्ष का है। जगदीश बताता है कि अभी तो उसके परिवार की पड़ोसी और समाजबंधु मदद कर रहे हैं, लेकिन पैर कटने से अब वह काम करने योग्य नहीं रह गया है। दूसरा तीन बार पॉजिटिव आने और बीमारी के कारण लम्बे समय से कमाई का कोई साधन भी नहीं है।
जगदीश मेवाड़ा के दोनों पैरों में कीड़े पड़ गए थे। इस पर पहले उसके एक पैरा का उपचार अहमदाबाद में और दूसरे का जोधपुर में उपचार कराया गया। इसमें विधायक ज्ञानचंद पारख ने काफी सहयोग किया। उसका हार्ट भी 25 प्रतिशत ही कार्य कर रहा है। –जयनारायण कड़ेचा, अध्यक्ष, मेवाड़ा समाज, पाली
जगदीश को पाली के अस्पताल में जाते समय वह कोरोना से ग्रसित था। उसका पैर नहीं काटने पर पूरे शरीर में जहर फैल सकता था। पाली में उसका उपचार करना मुश्किल था। इस पर जोधपुर के चिकित्सक से बात कर वहां भेजा और उपचार करवाया। अब वह ठीक है। –डॉ. अनिल विश्नोई, बांगड़ चिकित्सालय, पाली