बुधवार को शरीफ ने एक बार फिर से जमानत के लिए इस्लामाबाद हाईकोर्ट ( Islamabad High Court ) में अतिरिक्त दस्तावेज दाखिल करने की इजाजत मांगी थी।
शरीफ ने बुधवार को कोर्ट में याचिका दायर करते हुए कहा था कि मेडिकल आधार पर अल-अजीजिया स्टील मिल्स ( Al-Azizia Steel Mills ) मामले में जमानत के लिए नए दस्तावेज पेश करने की अनुमति दी जाए।
Pakistan minister Fawad Chaudhary को आया गुस्सा, पत्रकार को जड़ा थप्पड़
नवाज शरीफ ने नए दस्तावेज पेश करने की मांगी थी इजाजत
पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज ( pml-n ) सुप्रीमो नवाज शरीफ ने अपनी याचिका में कहा था कि उसे न्याय की पूर्ति के लिए विदेशी डॉक्टरों द्वारा सत्यापित मेडिकल रिपोर्ट प्रस्तुत करने की अनुमति है।
इससे पहले 15 जून को राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो ( National Accountability Bureau ) ने इस्लामाबाद हाईकोर्ट ( IHC ) से अनुरोध किया था कि वह नवाज़ शरीफ की ओर से दायर याचिका को चिकित्सा आधार पर जेल से रिहा करने की मांग पर विचार न करें।
इस पर जवाब देते हुए कोर्ट ने कहा था कि पूर्व प्रधानमंत्री शरीफ के स्वास्थ्य खतरे में नहीं है। NAB ने कहा था कि मेडिकल रिपोर्ट में कभी भी सर्जरी के लिए सुझाव नहीं दिया गया था। इसके बाद अदालत ने शरीफ को उनके मेडिकल रिपोर्ट को ध्यान में रखते हुए सजा सुनाई थी।
पाकिस्तान आर्मी के खिलाफ बोलने की मिली सजा, ब्लॉगर बिलाल खान की हत्या
नवाज शरीफ पर अल-अजीजिया मामले में भ्रष्टाचार के हैं आरोप
अल-अजीजिया स्टील मिल मामले में जवाबदेही कोर्ट ने बीते साल 24 दिसंबर को PML-N नेता नवाज शरीफ को दोषी करार देते हुए सात साल जेल की सजा सुनाई थी। कोर्ट ने सुनवाई के दौरान कहा था कि अल-अजीजिया मामले में सजा सुनाने के लिए पर्याप्त सबूत थे। कोर्ट ने नवाज शरीफ को 1.5 बिलियन और 25 मिलियन अमरीकी डॉलर के जुर्माने के साथ सश्रम कारावास की सजा सुनाई थी।
Read the Latest World News on Patrika.com. पढ़ें सबसे पहले World News in Hindi पत्रिका डॉट कॉम पर. विश्व से जुड़ी Hindi News के अपडेट लगातार हासिल करने के लिए हमें Facebook पर Like करें, Follow करें Twitter पर.