शोध में क्या पाया गया?
शारीरिक दुर्बलता से डिमेंशिया का खतरा बढ़ता है: Physical frailty increases the risk of dementia:
क्वींसलैंड विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने 1997 से 2024 के बीच संयुक्त राज्य अमेरिका और ब्रिटेन के 60 वर्ष और उससे अधिक आयु के लगभग 29,849 लोगों के डेटा का अध्ययन किया। इस डेटा से यह पता चला कि जो लोग शारीरिक रूप से कमजोर (Physical weakness) थे, उनमें डिमेंशिया (Dementia) विकसित होने की आशंका अधिक थी। इन प्रतिभागियों में से 3,154 लोगों में डिमेंशिया के लक्षण देखे गए। यह आंकड़े दर्शाते हैं कि शारीरिक कमजोरी और डिमेंशिया के बीच एक मजबूत संबंध है। यह भी पढ़ें : Melt Away the Belly Fat : पेट की चर्बी को जला देंगे ये 5 ड्रिंक, जान लीजिए पीने का सही तरीका और समय
क्या है शारीरिक कमजोरी का मतलब?
कमजोरी क्या है और कैसे यह डिमेंशिया का कारण बन सकती है?
कमजोरी (Physical weakness) एक स्वास्थ्य स्थिति है जो आमतौर पर उम्र बढ़ने के साथ होती है। इसमें व्यक्ति का शरीर अपनी लचीलापन खोने लगता है और गिरने, विकलांगता, और अस्पताल में भर्ती होने की संभावना बढ़ जाती है। जब किसी व्यक्ति के अंग कमजोर हो जाते हैं, तो उसका संज्ञानात्मक स्वास्थ्य भी प्रभावित होता है। शारीरिक कमजोरी (Physical weakness) से मस्तिष्क में रक्त प्रवाह और ऑक्सीजन की आपूर्ति में कमी आ सकती है, जिससे मानसिक सेहत पर असर पड़ता है और डिमेंशिया (Dementia) का खतरा बढ़ जाता है।शोध का उद्देश्य और भविष्य की रणनीतियाँ
डिमेंशिया से कैसे बचा जा सकता है?
डिमेंशिया के बढ़ते आंकड़े
यह भी पढ़ें : Weight loss का सबसे आसान तरीका , 1 घंटे में घटाएं 500 से 800 कैलोरी इस शोध से एक नई रोशनी मिली है कि कैसे उम्र के साथ शारीरिक कमजोरी (Physical weakness) डिमेंशिया जैसी जटिल समस्याओं को जन्म दे सकती है। यह जानने के बाद, हमें इस दिशा में प्रयास करने की जरूरत है ताकि उम्र के साथ शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य बेहतर बनाए रखा जा सके।