बेनीवाल ने लोक सभा में वर्ष 2024-25 के लिए अनुदान की अनुपूरक मांगो के प्रथम बैच पर हुई चर्चा में भाग लेकर यह मांग की। उन्होंने कहा कि विभिन्न मंत्रालयों ने अतिरिक्त राशी की मांग की है, लेकिन राजस्थान सहित कई राज्यों में किसान डीएपी,यूरिया के लिए जूझ रहे है। समर्थन मूल्य पर खरीद के लिए टोकन कटवाने के बावजूद किसानों की उपज की खरीद नहीं हो रही है।
बेनीवाल ने वर्ष 2023-24 के आवंटित बजट का जिक्र करते हुए कहा कि जब आठ माह बाद इस बजट के लेखा जोखे को देखा तो यह हालात सामने आए की भारत सरकार के 15 मंत्रालयों ने आवंटित बजट का एक तिहाई भी खर्च नहीं किया। स्वास्थ्य,शिक्षा और महिला तथा बाल -विकास जैसे महकमो के लिए आवंटित बजट लेप्स होना ही नहीं चाहिए। इसके लिए विशेष प्रयास करने की जरूरत है। बेनीवाल ने कहा अभी समर्थन मूल्य पर खरीद का राइडर लगा हुआ है और किसी भी किसान से 25 क्विंटल से ज्यादा खरीद के राइडर हटना चाहिए। साथ ही समर्थन मूल्य पर खरीद का गारंटी कानून बनना चाहिए।