scriptकोरोना काल में शराब और जंक फूड कंपनियां मदद की आड़ में अपना रहीं ये हथकंडे… | Alcohol and junk food companies trying to present themselves as hero | Patrika News
नई दिल्ली

कोरोना काल में शराब और जंक फूड कंपनियां मदद की आड़ में अपना रहीं ये हथकंडे…

वैश्विक रिपोर्ट ‘Signaling Virtue, Promoting Harm’ में भारत को ले कर जताई गई भारी चिंता
खुद को हीरो के तौर पर पेश कर रहे हमारी सेहत के विलेन
वीडियो कॉल तक में बनाई पैठ

नई दिल्लीSep 11, 2020 / 01:46 pm

Mukesh Kejariwal

Alcohol and junk food companies presenting themselves as hero during Corona

Alcohol and junk food companies trying to present themselves as a hero during Corona

सेहत के लिए खतरा पैदा करने वाली कंपनियां खूब चालाकी दिखा रही हैं। वह भी तब जबकि कोरोना आने के बाद से आम लोग अपनी सेहत को ले कर सबसे ज्यादा परेशान हैं। शराब और junk food बनाने वाली इन कंपनियों ने अपनी छवि सेहत के रक्षक के तौर पर पेश करनी शुरू की। जानकारों के मुताबिक इन उत्पादों को ले कर लोगों के रवैये के लिहाज से यह बहुत खरतनाक हो सकता है।
भारतीय बाजार की यह सच्चाई सामने आई है गैर संक्रामक रोगों के खिलाफ वैश्विक मुहीम चलाने वाले अंतरराष्ट्रीय संगठन ‘NCD Alliance’ की ओर से लाई गई वैश्विक रिपोर्ट ‘Signaling Virtue, Promoting Harm’ में। इसमें भारत में ऐसी कोशिशों पर गंभीरता से चिंता जताई गई है। रिपोर्ट तैयार करते समय USA, UK और आस्ट्रेलिया के बाद सबसे अधिक मामले भारत से ही मिले हैं।
रिपोर्ट बताती है कि Covid-19 के बाद जहां लोगों की जीवन शैली में आए बदलाव की वजह से डायबिटीज और बीपी जैसे गैर संक्रामक (NCD) रोगों का खतरा बढ़ गया है, वहीं ऐसी बीमारियों को बढ़ाने वाले उत्पाद बनाने वाली कंपनियां इस आपदा को भुनाने में कोई कसर नहीं छोड़ रहीं। लॉकडाउन से उपजी स्थिति और व्यावसाय की बदलती परिस्थितियों को ये कंपनियां जम कर भुना रही हैं।
चिप्स पहुंचाने वाले बने ‘रीयल हीरो’

रिपोर्ट में सबसे प्रमुखता से एक बड़ी चिप्स कंपनी की भारत में अपनाई रणनीति का हवाला है। इसने कोरोना के दौरान लोगों तक चिप्स पहुंचाने वाले हर व्यक्ति को ‘रीयल हीरो’ बताया है। साथ ही इस अभियान को ‘हर्टवर्क’ नाम दिया है और देश के बहुत से प्रभावशाली लोगों को इस भावनात्मक अभियान से जोड़ दिया है। जबकि यह उत्पाद कई बीमारियों को बढ़ावा देने वाला है।
मास्क बना कर बने रक्षक

बीयर बनाने वाली दो कंपनियों ने इस दौरान भारत में अपने डिजाइनर और बेहद आकर्षक मास्क उतार दिए। इस तरह कंपनी के ब्रांड को लोगों की सुरक्षा से जोड़ा। ये खास तौर पर युवा पीढ़ी को आकर्षित कर रहे हैं।
वीडियो कॉलिंग में भी पैठ बनाई

कोरोना काल में वीडियो कॉलिंग के लोकप्रिय होने के साथ ही एक और भारतीय मदिरा कंपनी ने यहां भी अपनी पैठ बना ली। इसने सबसे लोकप्रिय वीडियो कॉलिंग एप्लीकेशन पर अपने बैकग्राउंड वालपेपर उपलब्ध करवा दिए हैं। ये वॉलपेपर ऐसी जगहों के दृष्य पेश करते हैं जहां बैठ कर लोग शराब बीते हैं या फिर उन खेल आयोजनों के हैं जहां कंपनी के लोगो का इस्तेमाल हुआ है।
ऑनलाइन इवेंट से राहत कार्य में मदद

अल्कोहल उत्पाद बनाने वाली एक कंपनी ने इस दौरान विशेष डीजे सेशन की लाइवस्ट्रीमिंग शुरू की। साथ ही लोगों से यह कहते हुए देखने की अपील की है कि जितने लोग इसे देखेंगे, उस मुताबिक वह रकम कोरोना प्रभावित लोगों की सहायता में लगाएगी।
जांच किट दान

यहां तक कि अपनी छवि बनाने के लिए शीतल पेय बनाने वाली एक बहुराष्ट्रीय कंपनी ने भारत में 25 हजार जांच किट उपलब्ध करवाई। खास बात है कि सेहत के लिए बेहद नुकसानदेह उत्पाद की इस कंपनी ने यह सहायता एक संगठन के माध्यम से स्वास्थ्य मंत्रालय को उपलब्ध करवाई ताकि इसकी छवि लोगों के सेहत की रक्षा करने वाले की बने।
सेहत की कीमत पर ना मिले छूट

यूनिवर्सिटी ऑफ एडिनबर्ग के प्रोफेसर और रिपोर्ट के सह-लेखक प्रो. जेफ कॉलिन कहते हैं, ‘कोरोना के बाद से दुनिया भर में स्वास्थ्य के मुद्दे को ऐतिहासिक तवज्जो मिली है। लेकिन इसमें सेहत के लिए खतरनाक सामान बनाने वाली कंपनियों को इसमें दखल देने की छूट नहीं दी जा सकती। ये लोगों की सेहत की कीमत पर अपने व्यावसायिक हितों को आगे बढ़ी रही हैं।’ कारपोरेट सोशल रिस्पांसिबलिटी के तहत जो खर्च करना इनके लिए जरूरी है, उसे इस तरह खर्च कर रही हैं, जिससे इनके उत्पादों को बढ़ावा मिले।

Hindi News / New Delhi / कोरोना काल में शराब और जंक फूड कंपनियां मदद की आड़ में अपना रहीं ये हथकंडे…

ट्रेंडिंग वीडियो