2 साल से घट रहे किफायती आवास
रिपोर्ट के मुताबिक, वर्ष 2023 के दौरान सस्ते घरों सप्लाई में 20 प्रतिशत गिरावट आई थी। गिरावट का यह रुझान इस साल की पहली तिमाही में भी जारी रहा। प्रॉपइक्विटी के सीईओ समीर जसूजा ने कहा कि देश के शीर्ष आठ शहरों में अफोर्डेबल हाउसिंग प्रोजेक्ट की लॉन्चिंग में दो साल से गिरवाट आ रही है। 2023 में 60 लाख रुपए से कम कीमत के सिर्फ 1,79,103 मकान पेश किए गए। जबकि 2022 के 2,24,141 यूनिट लॉन्च हुए थे। उन्होंने कहा कि यह ट्रेंड 2024 में भी जारी रहने का संकेत है। दिल्ली-एनसीआर, मुंबई मेट्रोपॉलिटिन रीजन, बेंगलूरु, हैदराबाद, चेन्नई, कोलकाता, पुणे और अहमदाबाद में किफायती आवासों की लॉन्चिंग घटी है।
सस्ते घरों के निर्माण को प्राथमिकता देने की जरूरत
रियल एस्टेट एक्सपर्ट्स का कहना है कि बढ़ती हुई कंस्ट्रक्शन कॉस्ट के चलते सस्ते हाउसिंग प्रोजेक्ट लाभ का सौदा नहीं रह गए हैं। महामारी के बाद अब लोग बड़े घर चाहते हैं। इस रुख पर चिंता जताते हुए क्रेडाइ के सचिव नितिन गुप्ता ने कहा कि निम्न और मध्यम आय वर्ग के लोगों के घर के सपने को पूरा करने के लिए सस्ते घरों के निर्माण को प्राथमिकता देने की जरूरत है।