‘नेहरू के खिलाफ कविता पर भेजा था जेल’
– वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि कांग्रेस खुद जीएसटी संशोधन पेश करने में विफल रहे और अब, जब हम इसे लागू करते हैं, तो वे चिल्लाते हैं। इनके एक नेता ने इसे गब्बर सिंह टैक्स करार दिया था। – इमरजेंसी के समय विपक्ष के कई नेताओं को जेल में डाला गया। ऐसे काले दिनों को याद रखने के लिए एक नेता ने अपने बच्ची का नाम मीसा रख दिया (लालू यादव का संदर्भ)।
– 1949 में मिल मजदूरों की बैठक के दौरान मजरूह सुल्तानपुरी ने जवाहरलाल नेहरू के खिलाफ लिखी कविता सुनाई तो मजरूह सुल्तानपुरी और बलराज साहनी को जेल भेजा गया। – 1975 में माइकल एडवर्ड्स की लिखी राजनीतिक जीवनी नेहरू पर प्रतिबंध लगा दिया गया। इंदिरा गांधी और उनके बेटे पर सवाल उठाने वाली किस्सा कुर्सी का नामक फिल्म पर प्रतिबंध लगाया।
‘संघ ने संविधान अपनाने के दिन जलाए थे पुतले’
– खरगे ने कहा कि जब संविधान बना तो आरएसएस के नेताओं ने इसे जला दिया था, क्योंकि यह मनुस्मृति पर आधारित नहीं है। दिल्ली के रामलीला मैदान में अंबेडकर, नेहरू, महात्मा गांधी के पुतले जलाए थे। – वित्त मंत्री जेएनयू से ग्रेजुएट हैं। मैंने म्यूनिसिपल स्कूल से पढ़ाई की है, लेकिन संविधान हमने भी थोड़ा-बहुत पढ़ा है। उनकी अंग्रेजी और हिन्दी अच्छी होगी, लेकिन उनके कर्म अच्छे नहीं हैं। – सबसे बड़ा झूठ तो पीएम मोदी ने 15 लाख रुपए देने का बोला था। वहीं, गृह मंत्री अमित शाह के पास बहुत बड़ी वॉशिंग मशीन है। उसमें आदमी जाता है क्लीन होकर आता है।
– 70 सालों में जो हुआ, उसी की वजह से आप डॉक्टर, इंजीनियर बने। मोदी पीएम बने, मैं लेबर का बेटा नेता प्रतिपक्ष बना। आप खुद को तीस मारखां मत समझिए। ये नेहरू जी की देन है।