नियंत्रण रेखा पर कर रहे थे निगरानी
यह घटना सुबह करीब 10:30 बजे 80वीं इन्फैंट्री ब्रिगेड के तहत 17वीं सिख लाइट बटालियन की जिम्मेदारी के क्षेत्र (AOR) में फॉरवर्ड डिफेंस लाइन (FDL) से लगभग 300 मीटर की दूरी पर हुई। जब विस्फोट हुआ तब सेना के तीनों जवान नियंत्रण रेखा पर ड्यूटी कर रहे थे।
घायलों का चल रहा इलाज
विस्फोट के बाद धायल सैनिकों को तुरंत हवाई मार्ग से उधमपुर के कमांड अस्पताल ले जाया गया। जहां एक गंभीर रूप से घायल जवान मौके पर ही शहीद हो गया। बाकी दो धायल जवानों को आनन-फानन में इलाज के लिए हवाई मार्ग के जरिए अस्पताल भेजा गया है। जहां उनका इलाज चल रहा है। सेना ने शहीद हुए जवान के बारे में कोई जानकारी नहीं दी है। सेना ने अभी शहीद हुए जवान के बारे में कोई जानकारी नहीं दी है।
क्यों होते हैं इस तरह के हादसे
अधिकारियों का कहना है कि घुसपैठ रोधी बाधा प्रणाली के तहत अग्रिम क्षेत्र में बारूदी सुरंगें बनाई गई हैं। बारिश के चलते इनकी स्थिति बदल जाती है। जिसकी बजह से कभी-कभी तरह के हादसे हो जाते हैं। इसके लिए इन स्थानों पर अधिक सतर्कता बरतने की जरूरत होती है। शनिवार को नौशेरा सेक्टर के कलाल इलाके में हुए विस्फोट में मंगियोट गांव के निवासी राजकुमार और अश्वनी कुमार को छर्रे लग गए थे। उन्होंने बताया कि दोनों घायल पोर्टरों को अस्पताल ले जाया गया था।