कर्नाटक हाईकोर्ट ने लगाया था जुर्माना
हाई कोर्ट ने सीएम सहित चारों कांग्रेस नेताओं को ट्रायल कोर्ट के सामने पेश होने का निर्देश देते हुए उन पर 10-10 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया था। सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस हृषिकेश रॉय और जस्टिस प्रशांत कुमार मिश्रा की बेंच के सामने सुनवाई के दौरान कांग्रेस नेताओं की ओर से सीनियर एडवोकेट कपिल सिब्बल , अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा कि विरोध प्रदर्शन अभिव्यक्ति की आजादी के तहत मौलिक अधिकार है।
इस पर जस्टिस मिश्रा ने कहा कि यह अधिकार युक्तियुक्त प्रतिबंधों के अधीन है। क्या प्रदर्शन की अनुमति ली गई थी? किसी भी दिन आप सड़कों पर एकत्र हो जाएं और बाद में कहते हैं कि हमें अधिकार होने के कारण मामला रद्द करें। ऐसा कैसे होगा? हालांकि याचिकाकर्ता के तर्क दर्ज करने के बाद कोर्ट ने हाई कोर्ट के आदेश पर रोक लगा दी और नोटिस जारी किए।
6 सप्ताह बाद होगी सुनवाई
जज हृषिकेश रॉय और जज पीके मिश्रा की पीठ ने मामले में कर्नाटक सरकार और शिकायतकर्ता को नोटिस जारी किया है। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने आगे की कार्यवाही पर रोक लगा दी है और SC ने 26 फरवरी को निचली अदालत में पेश होने पर भी रोक लगा दी है। इस मामले में अगली सुनवाई 6 सप्ताह बाद होगी।
क्या है मामला?
बता दें कि कांग्रेस नेताओं के खिलाफ ये मामला तब दर्ज किया गया था, जब उन्होंने बेंगलुरु में तत्कालीन मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई के आवास की घेराबंदी करने की कोशिश की थी। उन्होंने केएस ईश्वरप्पा के इस्तीफे की मांग को लेकर तत्कालीन मुख्यमंत्री के आवास का घेराव किया था। इस मामले में कांग्रेस नेताओं के खिलाफ FIR दर्ज की गई थी।