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नागौर

रिटायर फौजी ने पहले भाई-भौजाई फिर पकडऩे आए पुलिसकर्मियों पर की फायरिंग

भाई-भौजाई पर फायरिंग करने के बाद आरोपी फौजी ने उसे पकडऩे पहुंची पुलिस पर भी गोलियां चला दी।

नागौरSep 07, 2024 / 09:31 pm

Sandeep Pandey

firing on policemen

property vivad mein bhai ne bhai par kiya hamla


नागौर. भाई-भौजाई पर फायरिंग करने के बाद आरोपी फौजी ने उसे पकडऩे पहुंची पुलिस पर भी गोलियां चला दी। इसमे चार पुलिसकर्मी समेत पांच जने घायल हो गए। घर में घुसे आरोपी को दबोचने के लिए पुलिस पूरी रात उसके मकान को घेरे रही। शुक्रवार को तड़के भागने के प्रयास में उसे पकड़ लिया गया। जमीन विवाद के चलते शराब के नशे में इस रिटायर फौजी पर खून इस कदर सवार था कि वो सामने आने वाले हर शख्स को मारना चाहता था। इस संबंध में पुलिस व परिजनों की ओर से हत्या के प्रयास/राजकार्य में बाधा व हमले के अलग-अलग मामले दर्ज करवाए गए हैं। आरोपी ने अपनी लाइसेंसी बंदूक से फायर किए।
शारदापुरम् में परिवार के साथ रहने वाला आरोपी भंवर विश्नोई (48) मूलत: कंवलीसर का रहने वाला है। यहां उसके अगल-बगल छोटा भाई राजूराम व ओमप्रकाश परिवार सहित रहते हैं , जबकि दो अन्य भाई कंवलीसर गांव में रहते हैं। भंवर कुछ समय पूर्व फौज से रिटायर होकर यहां जेएलएन अस्पताल में सिक्योरिटी गार्ड लगा था। शारदापुरम में करीब एक बीघा जमीन इन भाइयों में बांटी गई थी, जिसके एक प्लाट पर भंवर निर्माण कराना चाहता था, जबकि राजू उसका विरोध करता था। इसी को लेकर पिछले काफी समय से उनमें विवाद चल रहा था। कुछ दिन पहले भी प्लाट पर चारदीवारी बनाने की बात को लेकर उसका राजू से झगड़ा हो गया था। ठेकेदार ने इस संबंध में कोतवाली में परिवाद भी दिया था। इसी बात पर गुरुवार की रात शुरू हुआ विवाद तड़के तक छह-सात लोगों पर जानलेवा हमले के बाद थमा।
भागने की फिराक में था, टोकते ही फायरिंग
सीओ विश्नोई ने बताया कि करीब साढ़े चार बजे भंवर बंदूक के साथ घर से बाहर निकला। बाहर तीनों तरफ पुलिसकर्मी अलग-अलग समूह में तैनात थे। वहां खड़ी बाइक पर भागने की फिराक में था पर पुलिसकर्मियों ने पहले ही बाइक की हवा निकाल दी, जैसे ही उसे टोका गया तो उसने पुलिस पर दो फायर कर दिए। इस फायरिंग में कोतवाली डीओ हैड कांस्टेबल मदन गोपाल, चेतक चालक हैड कांस्टेबल हनुमानराम, पुलिस लाइन कांस्टेबल रिद्धकरण, कांस्टेबल सतीश व होमगार्ड ओमप्रकाश घायल हो गए। मदनगोपाल के जांघ तो हनुमानराम के पिण्डली पर गोली लगी। इसके बाद वो फिर से घर के अंदर जा घुसा। पुलिस पर फायरिंग की सूचना मिलते ही एसपी नारायण टोगस मौके पर पहुंचे और बाद में इन घायल पुलिसकर्मियों का हाल जेएलएन अस्पताल जाकर देखा। अब पुलिस के समक्ष फिर मुश्किल थी कि उसके घर में जाएं या थोड़ा इंतजार और करें। सूझबूझ/ सतर्कता के चलते यही निर्णय लिया गया कि थोड़ा और इंतजार किया जाए। इसका नतीजा करीब आधा घंटे बाद आया। भंवर एक बार फिर बाहर आया और भागने की कोशिश में था तभी पुलिस वालों ने उसे दबोच लिया। इस बार उसके हाथ में बंदूक नहीं थी।
रात करीब ग्यारह बजे शुरू हुआ घटनाक्रम
एसपी नारायण टोगस ने बताया कि गुरुवार को ही राजूराम चार-पांच दिन की रामदेवरा पदयात्रा के बाद लौटा था। रात को राजूराम पत्नी गोमती, बेटी ममता, रवीना,, कौशल्या, निशा आदि के साथ सो रहा था। इसी बीच गेट खटखटाने की आवाज हुई और कहा कि सभी बाहर निकलो, यह सुनकर राजूराम की बेटी गेट खोलने गई। इतने में ही दरवाजे से फायरिंग होने लगी। भंवरङ्क्षसह ने बारह बोर की बंदूक से सात-आठ फायर कर दिए, इस फायरिंग से गोमती के हाथ पर गोली लगी, आवाज सुनकर दूसरा भाई ओमप्रकाश भी वहां पहुंचा तो भंवर ने उस पर भी गोली चला दी, जो उसके सिर से होकर निकली। सूचना मिलते ही एएसपी सुमित कुमार के सुपरविजन में नागौर सीओ रामप्रताप विश्नोई मय टीम मौके पर पहुंचे। ओमप्रकाश व गोमती का जोधपुर में उपचार चल रहा है।
बाइक पर भागने की बात निकली झूठ…
नागौर सीओ रामप्रताप विश्नोई ने बताया कि कोतवाली एसआई खेताराम मय टीम तो वहां थे ही, अतिरिक्त जाब्ता भी मंगाया गया। वहां पहुंचने पर जो मिला उसने यही कहा कि भंवर बाइक पर भाग गया। इस पर उसकी मोबाइल लोकेशन सर्च की तो वो घर की बता रहा था। पहले तो यही सोचा की ऐसे मामले में हो सकता है कि मोबाइल छोड़कर भाग गया हो पर मन नहीं माना, भंवर ङ्क्षसह के घर को घेर लिया। उसके बेटे-बेटी अथवा पत्नी से उसके बारे में पूछा गया तो उन्होंने तलाशी लेने से मना कर दिया और यही कहा कि वो यहां नहीं है। पुलिस ऐसे में कोई रिस्क नहीं चाहती थी, इसलिए वहीं डेरा जमा दिया।
शहर हुआ सन्न
आरोपी के करीब एक दर्जन फायर करने की बात सामने आई, हालांकि छर्रे से चोटिल हुए पुलिसकर्मी सभी खतरे से बाहर हैं, हालांकि हनुमानराम के जरूर पिण्डली में ज्यादा चोट आई। फायङ्क्षरग के बाद कदम दर कदम पुलिस की सूझबूझ के चलते समय पर भंवर को पकड़ लिया गया। जरासी भी पुलिस की जल्दबाजी भंवरङ्क्षसह को और आवेश में ला सकती थी। पुलिस ने रात भर इंतजार कर तड़के उसे दबोच लिया। इधर, एफएसएल, एमओबी टीम भी घटनास्थल पर पहुंची। राजूराम के घर टूटे दरवाजे के अलावा अन्य क्षतिग्रस्त दीवारों का अवलोकन किया। मामले की जांच एएसपी नूर मोहम्मद (त्वरित अनुसंधान) को सौंपी गई है।
इनका कहना
आरोपी भंवर को गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिसकर्मियों का उपचार चल रहा है। जमीन विवाद को लेकर भंवर ने पहले भाई-भौजाई पर फायरिंग की फिर पुलिसकर्मियों को निशाना बनाया। वो शराब के नशे में था, मामले की जांच एएसपी नूर मोहम्मद को सौंपी गई है।
नारायण टोगस, एसपी नागौर

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