सीएम देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व वाली महायुति सरकार के 42 मंत्रियों में से 34 को संरक्षक मंत्री का पद दिया गया है। दिलचस्प बात यह है कि पिछले कुछ समय से बीड में सरपंच संतोष देशमुख की निर्मम हत्या के मामले को लेकर चर्चा में रहे मंत्री धनंजय मुंडे को संरक्षक मंत्रियों की सूची में जगह नहीं मिली है। इसी तरह उपमुख्यमंत्री शिंदे के करीबी दादा भुसे और भरत गोगवले को भी किसी जिले की जिम्मेदारी नहीं सौंपी गई है।
गोगवले के समर्थकों ने कई जगहों पर विरोध प्रदर्शन किया है। इससे रायगढ़ जिले के राजनीतिक हलके में खासी हलचल मच गयी। मुंबई-गोवा हाईवे पर महाड इलाके में गोगवले के समर्थकों ने टायर जलाकर तीव्र विरोध दर्ज कराया। हजारों गोगवले समर्थक सड़कों पर उतर आये है और तटकरे के खिलाफ नारे लगाये।
रायगढ़ का पालक मंत्री महिला एवं बाल विकास मंत्री अदिति तटकरे को बनाया गया है। अदिति तटकरे अजित पवार की एनसीपी के प्रदेश अध्यक्ष और लोकसभा सांसद सुनील तटकरे की बेटी हैं। भारी विरोध को देखते हुए महायुति सरकार की ओर से देर रात इस संबंध में बड़ा फैसला लिया। शिवसेना नेताओं द्वारा नाराजगी जताए जाने के बाद रायगढ़ और नासिक जिले के पालक मंत्री पद के फैसले को 24 घंटे में ही निलंबित कर दिया गया। इस संबंध में रविवार रात में फडणवीस सरकार के निर्णय की घोषणा सामान्य प्रशासन विभाग ने की।
आपके जिले का नया संरक्षक मंत्री कौन? यहां देखें पूरी सूची
राज्य कैबिनेट के नए संरक्षक मंत्री पद की घोषणा शनिवार को की गई। इसमें रायगढ़ के पालक मंत्री का पद एनसीपी की अदिति तटकरे को सौंपा गया, जबकि नासिक के पालक मंत्री का पद बीजेपी नेता गिरीश महाजन को मिला। दोनों ही जगहों पर शिवसेना शिंदे गुट ने दावा किया था, रायगढ़ जिले के पालक मंत्री पद के लिए भरत गोगवले और नासिक के लिए दादा भुसे जोर लगा रहे थे। जब शिंदे सीएम थे तो दादा भुसे नासिक के पालक मंत्री थे।