आआईटी खड़गपुर से ग्रेजुएट इंदुकुरी का संबंध मूल रूप से कर्नाटक से है। आगे की पढ़ाई के लिए उन्होंने अमरीका के मैसाचुएट्स यूनिवर्सिटी का रुख किया। पढ़ाई पूरी करने के बाद किशोरी इंदुकुरी ने अमरीकी टेक कंपनी इंटेल में जॉब जॉइन कर ली। अच्छी नौकरी तो मिल गई, लेकिन इंदुकुरी के मन को संतोष नहीं था।
इंदु किसी भी तरह अपनी जड़ की तरफ लौटना चाहते थे। इंटेल के साथ छह साल काम करने के बाद आखिरकार उन्होंने अमरीका में नौकरी को अलविदा कहा और वापस भारत आ गए।
इंदु को भारत लौटते ही कोई बिजनेस करना था। उन्हें जल्द ही इस बात का एहसास हो गया कि भारत में अच्छे और स्वस्छ दूथ के विकल्प कम हैं। लिहाजा उन्होंने एक डेयरी फार्म शुरू करने का फैसला किया।
औरों की तरह इंदु की सफलता का सफर भी बहुत छोटी शुरुआत से ही हुआ। 2012 में उन्होंने महज 20 गायों के निवेश से शुरुआत की। उन्होंने खुद गायों के दूध दुहने से लेकर सीधे ग्राहकों तक पहुंचाने लगे।
किशोरी इंदु ने पहला निवेश परिवार के साथ फ्रीज और स्टोर सिस्टम स्थापित करने के लिए किया, ये सुनिश्चित करने के लिए दूध दूहने के समय से वितरण तक ज्यादा देर टिके। उसके बाद से उन्होंने मुड़कर पीछे नहीं देखा।
इंदुकुरी की मेहनत का ही नतीजा था कि सिर्फ 6 वर्षों में उन्होंने अपने काम में ऊंचाइयों को छू लिया। 2018 तक उनकी डेयरी फार्म हैदराबाद के आसपास छह हजार ग्राहकों को दूध की आपूर्ति करनेवाला बन गया।
फार्म से रोजाना 10 हजार ग्राहकों को दूध की आपूर्ति की जाती है।
अपना फार्म पर इंदुकुरी गाय और भैंस के दूध से शुरू होकर अब कई तरह के प्रोडक्ट्स बना रहे हैं। इनमें घी, दही, ऑर्गेनिक पनीर, गाय का दूध और भैंस के दूध का विस्तार किया है।