अमरीका ने किया फैसले का स्वागत
वहीं, अमरीका ने पाकिस्तान के भारत के पायलट को छोड़े जाने वाले फैसले का स्वागत किया है। आपको बता दें कि मसूद अजहर खूंखार आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद का सरगना है। जैश ने ही जम्मू—कश्मीर के पुलवामा में आतंकी हमले को अंजाम दिया था। भारत ने पाकिस्तान ने जैश और मसूद अजहर दोनों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की थी, लेकिन पाकिस्तान ने एक बार फिर हर बार की तरह भारत से उसके खिलाफ सबूतों की मांग की। यही वजह है पाकिस्तान का वही पुराना रवैया देख भारत ने पाक अधिकृत कश्मीर में घुस कर आतंक को मुंहतोड़ जवाब दिया। भारतीय वायु सेना ने पाकिस्तान में घुसकर जैश, लश्कर औ हिज्बुल के कई ठिकानों और ट्रेनिंग कैंपों को तबाह कर दिया था। भारत की इस कार्रवाई में 300 से अधिक आतंकी ढेर हो गए थे। भारत ने यह कार्रवाई पाकिस्तान के मुज्जफराबाद, चिकोटी और बालाकोट में की थी।
जैशको अंतर्राष्टीय आतंकी संगठन घोषित करने की मुहिम
इसके साथ ही सयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में एक बार फिर जैश-ए-मोहम्मद को अंतर्राष्टीय आतंकी संगठन घोषित करने की मुहिम तेज हुई है। पी-3 देश अमरीका, फ्रांस और इटली ने सुरक्षा परिषद में जैश के खिलाफ प्रस्ताव पेश किया है। इन देशों ने परिषद के सभी 15 सदस्यों से जैश और उसके सरगना मसूद अजहर पर प्रतिबंध लगाने, उसके खाते बंद करने और उसके इंटरनेशल ट्रैवल पर बैन लगाने की मांग की है।