scriptबेटे-बेटियों के जन्म के अनुपात में इस बार देशभर में छत्तीसगढ़ सबसे आगे | sdg india index 2020-21 : Chhattisgarh leads in sexratio | Patrika News
विविध भारत

बेटे-बेटियों के जन्म के अनुपात में इस बार देशभर में छत्तीसगढ़ सबसे आगे

एसडीजी इंडेक्स: केरल दूसरे नंबर पर, उत्तराखंड सबसे पीछे, लिंगानुपात वर्ग में मध्यप्रदेश 8वें स्थान पर, सूची में राजस्थान 17वें पायदान पर ।

Jun 09, 2021 / 12:12 pm

विकास गुप्ता

बेटे-बेटियों के जन्म के अनुपात में इस बार देशभर में छत्तीसगढ़ सबसे आगे

बेटे-बेटियों के जन्म के अनुपात में इस बार देशभर में छत्तीसगढ़ सबसे आगे

नई दिल्ली। नीति आयोग के सतत विकास लक्ष्यों (एसडीजी) के वार्षिक (2020-21) इंडेक्स के बालक-बालिका लिंगानुपात वर्ग में छत्तीसगढ़ सबसे आगे रहा है। वहां शिशु जन्म लिंगानुपात (सेक्स रेश्यो) 958 है, जो इस बार के राष्ट्रीय औसत 899 से ज्यादा है। यानी छत्तीसगढ़ में हर एक हजार बेटों के मुकाबले 958 बेटियां हैं, जबकि देश में यह अनुपात 1000 : 899 है। केरल (957) और पश्चिम बंगाल (941) क्रमश: दूसरे-तीसरे नंबर पर हैं। उत्तराखंड के आंकड़े सबसे निराशाजनक हैं। वहां लिंगानुपात 840 है।

पंजाब-हरियाणा में सुधरे हालात-
कम लिंगानुपात वाले पंजाब और हरियाणा में हालात सुधरते लग रहे हैं। हरियाणा में प्रति 1000 बेटों पर 843 बच्चियों का जन्म दर्ज किया गया, पंजाब में यह संख्या 890 तक पहुंच गई है।

नगालैंड: महिलाओं पर अपराध कम-
बेहतर लिंगानुपात वाले टॉप 10 राज्यों में शामिल असम महिलाओं के खिलाफ अपराध में सबसे आगे है। वहां प्रति एक लाख महिलाओं पर क्राइम रेट 177.8 है। नगालैंड में यह दर सबसे कम है। राजस्थान में 110.4, मध्य प्रदेश में 69, छत्तीसगढ़ में 53.5 और गुजरात में 27.1 है।

विकास की निगरानी का प्राइमरी टूल-
एसडीजी इंडेक्स राज्यों के सामाजिक, आर्थिक व पर्यावरणीय मानकों का मूल्यांकन करता है। दिसंबर 2018 में लॉन्च यह इंडेक्स देश में विकास की निगरानी के लिए प्राइमरी टूल है।

विस हिस्सेदारी में भी छत्तीसगढ़ आगे-
विधानसभा में महिलाओं की हिस्सेदारी में भी छत्तीसगढ़ अव्वल है। वहां विधानसभा सीटों के हिसाब से 14.44 प्रतिशत पर महिलाएं चुनी गईं। यह संख्या झारखंड में 12.35, राजस्थान में 12, दिल्ली में 11.43, मध्य प्रदेश में 9.13, गुजरात में 7.56 प्रतिशत है।

ओवरऑल एसडीजी स्कोर में केरल टॉप-
ओवरऑल एसडीजी स्कोर में 75 अंकों के साथ केरल टॉप पर रहा। बिहार को सबसे कम 52 अंक मिले। देश के ओवरऑल एसडीजी स्कोर में 6 अंकों का सुधार हुआ। यह 2019 में 60 के मुकाबले 2020-21 में 66 रहा। स्वच्छ पानी, स्वच्छता, सस्ती और स्वच्छ ऊर्जा के क्षेत्र में देशव्यापी प्रदर्शन में काफी हद तक सुधार हुआ है।

Hindi News/ Miscellenous India / बेटे-बेटियों के जन्म के अनुपात में इस बार देशभर में छत्तीसगढ़ सबसे आगे

ट्रेंडिंग वीडियो