अमरीकाः एच-4 वीजा पाने वालों में भारतीय आगे, 93 फीसदी लोगों को मिला मौका भारतीयों की लंबी कतारें अमरीका का यह वीजा बेहद लोकप्रिय है। ईबी-5 ख़ासकर चीन, भारत के साथ पड़ोसी देश पाकिस्तान में भी चर्चित है। अमरीकी विदेश विभाग के मुताबिक इस प्रोग्राम के बारे में पूछताछ करने वालों में सबसे आगे रहे पाकिस्तानी और दूसरे नंबर पर रहे हिंदुस्तानी हैं। इसके बाद संयुक्त अरब अमीरात,दक्षिण अफ्रीका और फिर सऊदी अरब के लोग आते हैं। ईबी-5 वीज़ा हासिल करने वालों में चीन सबसे आगे है। इसके बाद वियतनाम और तीसरे नंबर पर भारत है।
अमरीका और यूरोप के इन देशों में बिना वीजा के घूम सकते हैं आप दस हजार ईबी-5 वीजा जारी करता है अमरीका अमरीका हर साल दस हज़ार ईबी-5 वीज़ा जारी करता है। मगर प्रत्येक ईबी-5 वीज़ा के लिए लगभग 23 हज़ार अर्जियां लगती हैं। अमरीकी विदेश विभाग के मुताबिक पिछले साल 174 भारतीयों को ईबी-5 वीज़ा जारी किए गए। इसके बाद भी इस गोल्डन वीज़ा के लिए हर महीने सैकड़ों भारतीय अर्जियां दे रहे हैं। दरअसल, ट्रंप प्रशासन ने एच-1 बी वीज़ा नियमों को सख्त कर दिया है। इसके बाद से विदेशी कर्मचारियों के लिए अमरीका में नौकरी करना मुश्किल हो गया है।
एच 1-बी के तहत कड़े हुए नियम ‘अमरीका फर्स्ट’ की नीति को आगे बढ़ाते हुए ट्रंप ने इंफ़ोसिस, टीसीएस ,विप्रो जैसी कंपनियों के लिए अमरीका में काम करने के नियम कड़े किए हैं। ट्रंप प्रशासन एच1-बी वीज़ाधारक के पति और पत्नी को साथ रहने देने के नियम को भी खत्म करने पर विचार कर रहा है। इन सब नियमों से भारतीय सबसे अधिक प्रभावित होंगे।