जीरो पावर्टी पोर्टल और विभिन्न एप के जरिए न सिर्फ रूरल इलाकों में तेजी से गरीब परिवारों को चिन्हित कर उनका स्थलीय सत्यापन पूरा किया जा सकेगा, बल्कि विभिन्न विभागों की ओर से संचालित योजनाओं का लाभ भी इन गरीब परिवारों को दिया जाएगा।
डिजिटल पोर्टल को बढ़ावा देने का प्रयास
डिजिटल टेक्नोलॉजी से इस अभियान की जिले स्तर से लेकर शासन स्तर तक मॉनीटरिंग आसान होगी। इससे जीरो पावर्टी अभियान का सफल क्रियान्वयन संभव है।
शासन की ओर से डिजिटल टेक्नोलॉजी के उपयोग और डिजिटल पोर्टल को बढ़ावा देने के साथ मोबाइल एप के जरिए इस अभियान को तेज करने के दिशा निर्देश जारी किए जा चुके हैं।
इनके लिए मोबाइल एप का उपयोग
डिजिटल टेक्नोलॉजी में मोबाइल एप का उपयोग ऐसे यूजर के लिए है, जिन्हें कंप्यूटर युक्त कार्यस्थल की सुविधा नहीं प्राप्त है या फिर जिनका कार्य अधिकतर फील्ड में है। मॉप-अप मोबाइल एप का प्रयोग निर्धनतम परिवारों की पहचान करने के लिए किया जाना है। ग्राम स्तरीय कर्मचारी तथा ग्राम स्तरीय समिति के सदस्य/पदाधिकारी इस एप का उपयोग करेंगे। एप पर ही अपना मत करेंगे व्यक्त
ग्राम स्तरीय 5 सदस्यीय समिति को ग्राम स्तरीय कर्मचारियों द्वारा पहचान किए गए गरीब परिवारों के रिकॉर्ड उनके मोबाइल के डैशबोर्ड में प्रदर्शित होंगे। वे उनका स्थलीय सत्यापन करेंगे तथा एप पर ही अपना मत व्यक्त करेंगे।इस एप की मदद से ग्राम स्तरीय कर्मचारियों की टीम 30 दिन के अंदर अपने ग्राम पंचायत में रहने वाले सभी 10-25 गरीब परिवारों की पहचान कर सकेगी।