पुलिस ने बताया कि कोटा में लूट करने वाले सभी आरोपी नई दिल्ली की नीरज बवाना गैंग के सदस्य हैं, जो महंगे शौक पूरा करने के लिए लूटपाट की वारदात करते रहते हैं। गिरफ्तार आरोपी संजीव चौपड़ा के खिलाफ पूर्व में डबल मर्डर, लूट व डकैती के दर्जनों मुकदमे दर्ज हैं।
लूट के पहले दो बार आए कोटा
पुलिस पूछताछ में आरोपी ने बताया कि गुमानपुरा में लूट करने से पहले दो बार कोटा आए थे और बाहर निकलने वाले सभी रास्तों की रैकी की। इसके बाद ही रावतभाटा के रास्ते को चुना, क्योंकि यहां पर जंगल है और सीसीटीवी कैमरे कम हैं। इनमें से एक बदमाश को रावतभाटा के जंगलों से होकर चितौड़गढ़ जाने वाले रास्तों की जानकारी थी। पुलिस पूछताछ में आरोपी ने बताया कि लूट के बाद में आरोपी जंगल का रास्ते होकर जोणणिया माता मंदिर पहुंचे। यहां रुककर आगे की योजना बनाई। फिर जंगल के रास्ते से होते हुए टोल से बचते हुए चित्तौड़गढ़ पहुंच गए। टोल से पहले आरोपियों ने कार के नंबर को चेंज किया। यहां पर कुछ देर रुकने के बाद में सांवरिया सेठ मंदिर पहुंचे। वहीं लूट के रुपयों को बांटा और अलग-अलग रवाना हो गए।
तीन हजार सीसीटीवी चैक कर आरोपियों की पहचान की
पुलिस ने बताया कि चित्तौड़गढ़ की तरफ जाने वाले तीन हजार सीसीटीवी फुटेज को चैक किया। पुलिस ने लूट में काम ली गई कार जैसी दिखने वाली सभी कारों के फुटेज देखे। इस दौरान एक कार में संजीव चौपड़ा नजर आया। जिसका मोबाइल नंबर कोटा पुलिस को मिला था। पुलिस ने पंजाब पुलिस ने इसकी जानकारी जुटाई तो यह लूट व अन्य मामलों का आरोपी निकला। तकनीकी जांच से आरोपी का पीछा करते हुए पुलिस लुधियाना पहुंची, लेकिन यह वहां से निकल गया। पुलिस ने पीछाकर उसे पानीपत में दबोच लिया।
गिरफ्तार आरोपी से पूछताछ की जा रही है। वारदात में शामिल अन्य आरोपियों को भी जल्द गिरफ्तार किया जाएगा। अनिल टेलर, सीआई गुमानपुरा कोटा