एसीबी मुख्यालय जयपुर से निर्देश मिलने के बाद राजेंद्र विजय के दौसा जिले के दुग्गी ग्राम स्थित पैतृक निवास, जयपुर और कोटा में भी सर्च शुरू किया गया। राजेंद्र विजय ने 7 दिन पहले ही कोटा के डिविजनल कमिश्नर का पदभार ग्रहण किया था। इसके बाद वे सरकारी आवास में शिफ्ट नहीं हुए थे। वर्तमान में राजेंद्र विजय कोटा में ही हैं और सर्किट हाउस में ठहरे हैं।
एसीबी की टीमों ने उनके ठिकानों पर दबिश दी, तब वो कोटा सर्किट हाउस में ही थे। उन्हें सुबह 8 बजे गांधी जयंती के अवसर पर चंबल गार्डन में पुष्पांजलि कार्यक्रम में जाना था, लेकिन बाद में सभी कार्यक्रम रद्द कर दिए गए। उन्होंने किसी से भी मिलने से इनकार कर दिया है।
भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो मुख्यालय के अनुसार राजेंद्र विजय के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति के मामले में शिकायत मिली थी। इस मामले में न्यायालय के जरिए सर्च वारंट लिया गया था। इसके आधार पर आज जांच शुरू की गई है। इसकी मॉनिटरिंग खुद एसीबी के डीजी रवि प्रकाश मेहरड़ा कर रहे हैं।
बारां जिले में भी रहे कलक्टर
राजेंद्र विजय बारां जिले में कलक्टर पद पर रह चुके हैं। उन्हें जनवरी 2021 में बारां जिला कलक्टर के पद पर नियुक्त किया गया था। लगभग एक साल तक वे बारां कलक्टर के पद पर रहे।
अब सरकार ने राजेंद्र विजय को एपीओ कर दिया है और कोटा संभागीय आयुक्त का चार्ज कलक्टर डॉ. रविंद्र गोस्वामी को सौंपा है। एसीबी के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक मुकुल शर्मा का कहना है कि अभी शुरुआत की गई है। उनकी तीन टीमें इस पूरे मामले में कोटा में पड़ताल कर रही हैं।