300 मरीज भर्ती, अतिरिक्त बेड लगाए
अस्पताल में 12 बेड के कोविड आईसीयू के अलावा कोविड वार्ड व आइसोलेशन वार्ड भी मरीजों से फुल हो गए हैं। बरामदे में अतिरिक्त पलंग और गद्दे लगाकर मरीजों को रखा गया है। जहां सभी का उपचार जारी है। मालूम हो कि जिला अस्पताल की क्षमता तीन सौ पलंग की है। जहां वर्तमान में सभी पलंग पर संक्रमित मरीजों को रखकर इलाज किया जा रहा है। जबकि सामान्य लक्षण वाले मरीजों को उमरखली स्थित सीसी सेंटर पर रखा गया है।
अस्पताल में 12 बेड के कोविड आईसीयू के अलावा कोविड वार्ड व आइसोलेशन वार्ड भी मरीजों से फुल हो गए हैं। बरामदे में अतिरिक्त पलंग और गद्दे लगाकर मरीजों को रखा गया है। जहां सभी का उपचार जारी है। मालूम हो कि जिला अस्पताल की क्षमता तीन सौ पलंग की है। जहां वर्तमान में सभी पलंग पर संक्रमित मरीजों को रखकर इलाज किया जा रहा है। जबकि सामान्य लक्षण वाले मरीजों को उमरखली स्थित सीसी सेंटर पर रखा गया है।
केंद्र सरकार बनाएगी ऑक्सीजन प्लांट, सौ सिलेंडर की आपूर्ति
इधर, आगामी दिनों में अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी को पाटने के लिए जल्द ही प्लांट तैयार होगा। जिसका मसौदा तैयार हो चुका है। केंद्र सरकार द्वारा एजेंसी के माध्यम से जगह का चयन किया गया है। अस्पताल सूत्रों की मानें तो मेटरनिटी विंग और पैथालॉजी के बीच खाली जमीन पर ऑक्सीजन प्लांट लगाया जाएगा। लेआउड डालकर एक-दो दिन में काम आरंभ होगा। 45 दिन में प्लांट तैयार होगा। जिसके बाद प्रतिदिन लगभग सौ सिलेंडर ऑक्सीजन की आपूर्ति होगी।
इधर, आगामी दिनों में अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी को पाटने के लिए जल्द ही प्लांट तैयार होगा। जिसका मसौदा तैयार हो चुका है। केंद्र सरकार द्वारा एजेंसी के माध्यम से जगह का चयन किया गया है। अस्पताल सूत्रों की मानें तो मेटरनिटी विंग और पैथालॉजी के बीच खाली जमीन पर ऑक्सीजन प्लांट लगाया जाएगा। लेआउड डालकर एक-दो दिन में काम आरंभ होगा। 45 दिन में प्लांट तैयार होगा। जिसके बाद प्रतिदिन लगभग सौ सिलेंडर ऑक्सीजन की आपूर्ति होगी।
डिमांड ज्यादा है
अस्पताल में प्रतिदिन संक्रमित मरीज आ रहे हैं। इनकी संख्या तीन सौ के पार हो गए। ऑक्सीजन की कमी है, लेकिन खत्म हो गई, यह नहीं कह सकते। डिमांड ज्यादा है। आगे से जैसे-जैसे आपूर्ति हो रही, मरीजों को मुहैया करा रहे हैं।
डॉ. दिव्येश वर्मा, सिविल सर्जन जिला अस्पताल खरगोन
अस्पताल में प्रतिदिन संक्रमित मरीज आ रहे हैं। इनकी संख्या तीन सौ के पार हो गए। ऑक्सीजन की कमी है, लेकिन खत्म हो गई, यह नहीं कह सकते। डिमांड ज्यादा है। आगे से जैसे-जैसे आपूर्ति हो रही, मरीजों को मुहैया करा रहे हैं।
डॉ. दिव्येश वर्मा, सिविल सर्जन जिला अस्पताल खरगोन