एसपी टै्रफिक सुशील कुमार का कहना है कि तेज रफ्तार में वाहन कंट्रोल से बाहर हो जाता है। इसकी वजह से न केवल वाहन सवार की जान खतरे में होती है बल्कि सडक़ पर चलने वाले दूसरे वाहन और पैदल लोगों की जिंदगी भी आफत में पड़ जाती है। तेज रफ्तार के कारण ही ज्यादातर हादसे होते हैं। इनकी रोकथाम के लिए चौराहों पर स्पीड वायलेशन डिटेक्शन सिस्टम लगाया गया है। जिससे वाहन सवारों का चालान भी कटना शुरू हो जाएगा।
पुलिस की सर्वे रिपोर्ट में सामने आया है कि रात को सडक़ों पर सन्नाटा होते ही बाइक और कार सवार अपने मनोरंजन के लिए निकल पड़ते हैं और स्टंटबाजी करते हैं। इस दौरान उस सडक़ से गुजरने वाले वाहन सवार व पैदल राहगीर इनके स्टंट की वजह से हादसे का शिकार बनते हैं। कई बार हादसा इतना खतरनाक होता है कि लोगों की जान भी चली जाती है।
फिलहाल शहर के परेड चौराहा, लाल इमली, नरोना, फूलबाग, टाटमिल, जरीब चौकी, अफीमकोठी, कंपनी बाग, ईदगाह, फजलगंज, गौशाला द्वितीय, ग्रीन पार्क और गोल चौराहे पर यह सिस्टम लगाया जा चुका है। जबकि गुरुदेव पैलेस क्रॉसिंग, बिठूर तिराहा, गौशला, जेके चौराहा, भैरोघाट, सचान गेस्ट हाउस, नौबस्ता, रामादेवी, बर्रा बाईपास, यशोदानगर चौराहा और घंटाघर जंक्शन पर काम चल रहा है।