कोविड फैसिलिटी अस्पताल (Covid Facility Hospital) में औचक निरीक्षण के दौरान डीएम आलोक तिवारी ने अस्पताल में भर्ती मरीजों के तीमारदारों से फोन पर बात कर इलाज के गुणवत्ता के बारे में पूछा। कई तीमारदारों ने इलाज में संतुष्टि जताई, तो कुछ ने असंतुष्टि। वहीं कुछ तीमारदारों ने बताया कि हॉस्पिटल स्टाफ अच्छा बर्ताव नहीं करता है। इसके साथ ही मरीजों की हालत कैसी है, इसकी जानकारी समय पर नहीं दी जाती है। डीएम आलोक तिवारी ने कहा कि निर्देश दिए है कि मरीजों की स्थिति के बारे में तीमारदारों को समय-समय पर जानकारी दी जाए। यदि पेशेंट के विषय में किसी प्रकार की कोई समस्या हो तो कोविड हॉस्पिटल में तैनात स्टेटिक मजिस्ट्रेट को अवगत करा सकते हैं।
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पहले पैसा फिर इलाज की पॉलिसी छो़ड़ दें निजी अस्पताल
नौबस्ता स्थित कोविड स्टेट्स फैमली हॉस्पिटल पर डीएम के आदेश पर बीते 27 अप्रैल को एफआईआर दर्ज कराई गई थी। डीएम के निर्देश पर एसीएम प्रथम ने नौबस्ता थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी। फैमिली अस्पताल ने एक मरीज का सात दिनों में 03.50 लाख का बिल बनाया था। तीमारदारों ने इसकी शिकायत प्रशासन के आलाधिकारियों से की थी। डीएम ने इसकी जांच कराई थी, जिसमें अस्पताल दोषी पाया गया था। डीएम कानपुर ने प्राइवेट कोविड फैसिलिटी हॉस्पिटलों का चेतावनी दी है कि ‘पहले पैसा फिर इलाज’ की पॉलिसी को छोड़ दें। कोविड मरीजों को पहले भर्ती कर उपचार करने की प्राथमिकता दी जाए। यदि कोविड हॉस्पिटल ऐसा नहीं करते है, तो उन पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।