क्या है पूरा मामला?
दरअसल, छात्रा पश्चिम बंगाल की रहने वाली है और हिंदू छात्रा भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान से पीएचडी कर रही है। वहीं, एसीपी (सहायक पुलिस उपायुक्त) मोहसिन खान आईआईटी से साइबर क्राइम इन्वेस्टिगेशन एंड साइबर क्रिमिनोलॉजी पर पीएचडी कर रहे हैं। इस दौरान दोनों एक दूसरे से मिले और उनके बीच मेल-मिलाप बढ़ा। छात्रा द्वारा लगाए गए आरोपों के मुताबिक, मोहसिन खान से खुद को अविवाहित बताकर छात्रा से दोस्ती की और शादी का झांसा देकर संबंध भी बनाए। जब छात्रा को शादी का खुलासा हुआ तो मोहसिन खान ने रिश्ता न तोड़ने की बात की। साथ ही, यह भी कहा कि पत्नी से तलाक का मामला चल रहा है और तलाक के बाद शादी कर लेंगे।
एसआईटी करेगी जांच
HT की रिपोर्ट के मुताबिक, अपर पुलिस आयुक्त हरीश चंदर ने बताया कि आईआईटी छात्रा की तहरीर पर एसीपी के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। उनको हेडक्वार्टर से अटैच किया गया है। डीसीपी अंकिता शर्मा के नेतृत्व में एसआईटी बनी है। रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई होगी। मोहसिन खान लखनऊ के हैं। वह 2013 बैच के पीपीएस अफसर हैं। एक जुलाई 2015 को सर्विस ज्वाइन की थी।
एसीपी बोले-बेकसूर हूं, वह दबाव बना रही थी
मुकदमा लिखने से पहले पुलिस अफसरों ने एसीपी मोहसिन खान से पूछताछ की। पूछताछ में मोहसिन ने बताया कि पीएचडी करने के दौरान सिर्फ छात्रा से दोस्ती थी, जबकि छात्रा उनपर शादी का दबाव बना रही थी। पहले कई बार ब्लेड से हाथ भी काट चुकी है और ब्लैकमेल भी कर रही थी। उसने जब पत्नी की फोटो मेरे साथ सोशल मीडिया में देखी तो बेवजह के आरोप लगा रही है। कानपुर में तैनाती के दौरान इसी साल एसीपी को 15 अगस्त पर डीजीपी प्रशांत कुमार ने सिल्वर मेडल दिया था। क्या हैं पीड़ित छात्रा की मांगें?
● झूठे विवाह के बहाने बलात्कार धोखाधड़ी जालसाजी, हेरफेर मानहानि की रिपोर्ट एसीपी के खिलाफ दर्ज की जाए। ● मेरी सुरक्षा के लिए तत्काल उपाय, जिनमें आरोपी और उसके सहयोगियों के लिए आईआईटी कानपुर में प्रवेश पर रोक लगाना।
● आरोपी को न्याय दिलाने के लिए एक निष्पक्ष और विस्तृत जांच। ● मेरी पहचान व विवरण को कानूनी प्रावधानों के मुताबिक गोपनीय रखें।
डीसीपी ने क्या कहा?
डीसीपी अंकिता शर्मा ने इस मामले को लेकर कहा, “IIT कानपुर की एक छात्रा द्वारा कानपुर के एक एसीपी पर शादी का झांसा देकर दुष्कर्म करने के आरोप के सम्बन्ध में सुसंगत धाराओं में FIR पंजीकृत किया जा रहा है, विस्तृत विवेचना हेतु एडीसीपी ट्रैफिक अर्चना सिंह की अध्यक्षता में SIT गठित की गयी है। आरोपी एसीपी को तत्काल प्रभाव से लखनऊ पुलिस मुख्यालय में सम्बद्ध किया गया है।”