ALSO READ: आसाराम को अंतरिम जमानत से हाईकोर्ट का इनकार करीब 600 मीटर की दूरी पर जाकर इंजन लॉक होकर रुक गया, वहीं ट्रेन भी करीब 300 मीटर की दूरी पर जाकर रुक गई। ट्रेन रुकने पर यात्रियों को लगा कि किसी क्रॉसिंग के लिए रोका गया होगा, लेकिन वास्तविक वजह जान कर ट्रेन पैसेंजर की सांसें ही फूल गईं। बाद में इंजन को बैक लेकर ट्रेन को जोड़ा गया और तब ट्रेन जोधपुर के लिए रवाना हो सकी।
ALSO READ: अगर आप कार टैक्सी चालक हैं तो पढ़ लें ये खबर, वरना बाद में पड़ सकता है पछताना ऐसा नहीं है कि यह ट्रेन पहली बार दो भागों में बंटी है बल्कि मार्च में भी यह ट्रेन एक ही दिन में दो बार दो हिस्सों में बंट गई थी। 6 मार्च 2016 को यह ट्रेन गोटन-मेड़तारोड स्टेशन के बीच में कपलिंग में खराबी आने के कारण दो बार दो हिस्सों में बट गई थी।
डर वाली बात नहीं ट्रेन के अलग होने पर डरने जैसी कोई बात नहीं होती। ऑटोमैटिक सिस्टम के जरिए ट्रेन का इंजन 600 और ट्रेन 300 मीटर जाने के बाद अपने आप रुक जाती है।