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LUNAR ECLIPSE–साल का पहला चन्द्र ग्रहण 5 को, क्या पड़ेगा असर

– भारत में नहीं दिखेगा उपच्छाया चन्द्र ग्रहण, नहीं लगेगा सूतक

जोधपुरMay 03, 2023 / 07:17 pm

Amit Dave

LUNAR ECLIPSE

LUNAR ECLIPSE

जोधपुर।
वर्ष 2023 में कुल 4 ग्रहण लगने वाले हैं, जिसमें 2 सूर्य ग्रहण और 2 चंद्र ग्रहण होंगे। साल का पहला सूर्य ग्रहण हो चुका है। वहीं साल का पहला उपच्छाया चंद्र ग्रहण वैशाख पूर्णिमा शुक्रवार को लगने वाला है। यह चंद्र ग्रहण भारत में नहीं दिखाई देगा, इसलिए सूतक काल मान्य नहीं होगा। किला रोड महादेव अमरनाथ के पं कमलेशकुमार दवे के अनुसार, चंद्र ग्रहण शुक्रवार रात 8:44 मिनट से शुरू होगा, जो मध्यरात्रि 1:01 बजे समाप्त होगा। यह चंद्र ग्रहण उपच्छाया चंद्र ग्रहण होगा। चंद्रग्रहण का परमग्रास समय रात 10:52 मिनट पर है। यह एक खगोलीय घटना मानी जाती है। जब पृथ्वी चंद्रमा और सूर्य के बीच में आ जाती है, तो चंद्रग्रहण होता है। वैशाख पूर्णिमा से संबंधित पूजन कर्म और अन्य सामान्य पूजा-पाठ के लिए कोई बाधा नहीं रहेगी।

कहां-कहां नजर आएगा चंद्र ग्रहण
पं अनीष व्यास ने बताया कि जब चंद्रमा पर पृथ्वी की छाया सिर्फ एक तरफ से होती है, तो उपच्छाया चंद्र ग्रहण कहा जाता है। इसके कारण यह ग्रहण हर जगह नहीं देखा जा सकेगा। यह चंद्र ग्रहण यूरोप, सेंट्रल एशिया, ऑस्ट्रेलिया, अफ्रीका, अंटार्कटिका, प्रशांत अटलांटिक और हिंद महासागर में देखा जा सकेगा।
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मान्य नहीं होगा सूतक काल
सूतक काल चंद्र ग्रहण शुरू होने से 9 घंटे पहले लगता है। धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक, सूतक काल के दौरान कोई भी मांगलिक कार्य नहीं किए जाते हैं। भारत में यह चंद्र ग्रहण दिखाई नहीं देगा इसलिए यहां सूतक काल भी मान्य नहीं होगा।

चंद्र ग्रहण ग्रहण के दौरान मंत्र जाप
ॐ क्षीरपुत्राय विद्महे अमृत तत्वाय धीमहि तन्नो चन्द्रः प्रचोदयात्
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कब लगता है चंद्रग्रहण
भविष्यवक्ता डा. अनीष व्यास ने बताया कि पौराणिक मान्यता है कि पूर्णिमा की रात जब राहु और केतु चंद्रमा को निगलने की कोशिश करते हैं, तब चंद्र ग्रहण लगता है। वहीं चंद्र ग्रहण से कुछ घंटे पहले सूतक काल लग जाता है, जिसे ज्योतिष के नजरिए से शुभ नहीं माना जाता है।

राशियों पर दिखेगा प्रतिकूल प्रभाव
साल का पहला चंद्रग्रहण मंगल बुध के राशि परिवर्तन योग के बीच होने जा रहा है। चंद्रग्रहण के दौरान चंद्रमा तुला राशि में होंगे, इसलिए चंद्रग्रहण का सबसे अधिक प्रभाव प्रतिकूल रूप में तुला और मेष राशि पर देखा जाएगा। इनके अलावा यह चंद्रग्रहण वृश्चिक, वृष, कर्क और कन्या राशि वालों के लिए अशुभ फलदाई रहेगा। इन राशियों को चंद्रग्रहण के 15 दिनों के बीच काफी तनाव और परेशानियों का सामना करना होगा।
इन राशियों के लिए रहेगा शुभ फलदायी
मिथुन, सिंह, धनु, मकर, कुंभ और मीन राशि के लिए 5 मई को लगने वाला चंद्रग्रहण कुल मिलाकर शुभ फलदायी रहेगा। मिथुन राशि के जातकों को चंद्र ग्रहण के बाद लाभ का अवसर मिलेगा। मीन राशि के जातकों को धन का लाभ मिलेगा लेकिन पिता की सेहत और बच्चों को लेकर तनाव हो सकता है।
प्राकृतिक आपदाओं की संभावना
व्यास ने बताया कि ग्रहण की वजह से प्राकृतिक आपदाओं का समय से ज्यादा प्रकोप देखने को मिलेगा। इसमें भूकंप, बाढ़, सुनामी, विमान दुर्घटनाएं, किसी बड़े गुनाहगार का देश में वापस आने का संकेत मिल रहे हैं। प्राकृतिक आपदा में जनहानि कम ही होने की संभावना है। फिल्म व राजनीति से दुखद समाचार। व्यापार में तेजी आएगी। बीमारियों में कमी आएगी। रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। आय में इजाफा होगा। वायुयान दुर्घटना होने की संभावना। पूरे विश्व में राजनीतिक अस्थिरता यानि राजनीतिक माहौल उच्च होगा। राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप ज्यादा होंगे। सत्ता संगठन में बदलाव होंगे। पूरे विश्व में सीमा पर तनाव शुरू हो जाएगा। देश में आंदोलन, हिंसा, धरना प्रदर्शन हड़ताल, बैंक घोटाला, वायुयान दुर्घटना, विमान में खराबी, उपद्रव और आगजनी की स्थितियां बन सकती है।

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