Rajasthan Pension News: सामाजिक सुरक्षा के दायरे में आने वाले प्रदेश के कई बुजुर्ग पेंशनर, एकल महिलाएं और दिव्यांगजन बीते तीन महीने से बुजुर्ग, शारीरिक अक्षमता के बीच सिस्टम की मार झेलने को मजबूर हैं। प्रतिमाह सरकार की ओर से दी जाने वाली 1150 रुपए की सामाजिक सुरक्षा पेंशन के लिए सामाजिक न्याय व अधिकारिता विभाग में एडियां घिसने को मजबूर हैं।
हाल ये है कि वृद्धावस्था पेंशन या अन्य सामाजिक सुरक्षा पेंशन के लिए पेंशन शाखा के कार्मिक यहां आने वाले पेंशनर्स को देखते ही गायब हो जाते हैं या कोई जवाब नहीं देते। हालांकि आला अधिकारी यह जरूरी कह रहे हैं कि जैसे ही बजट आएगा वैसे ही पेंशन जारी कर दी जाएगी।
दो दिन के अवकाश के बाद शुक्रवार को भी कुछ पेंशनर यहां पहुंचे तो यहां अवकाश जैसा ही नजारा था। शनिवार और रविवार अवकाश के कारण यहां कई सीटें खाली थीं।
कार्मिक हुए गायब
जयपुर के मामा की होटल निवासी 58 वर्षीय मुन्ना धाकड़ पिछले दिनों दोपहर 1 बजे निदेशालय पहुंचे। 20 सीढियां चढ़कर कांपते पैरों से किसी तरह प्रथम तल पर पेंशन शाखा में पहुंचे तो उन्हें देखते ही वहां तैनात कार्मिक गायब हो गए। कुछ देर वहां किसी कार्मिक के आने का इंतजार करते रहे लेकिन कोई नहीं आया। उन्होंने कहा कि इस उम्र में पेंशन के लिए चक्कर लगा रहा हूं लेकिन यहां तो कोई मिलता ही नहीं है।
एक महीने से लगा रहे चक्कर
निदेशालय में पेंशन शाखा के बाहर सुबह 11 बजे से खडे़ जयपुर शहर के पहाड़गंज नाथ जी की गली निवासी 72 वर्षीय अयूब खान एक महीने से वृद्धावस्था पेंशन के लिए चक्कर लगा रहे थे। 2 महीने तक वे पेंशन के लिए चक्कर लगाते रहे।
इनका कहना है…
सामाजिक न्याय व अधिकारिता मंत्री अविनाश गहलोत का कहना है कि दो माह से पेंशन जारी होने के रोटेशन में दिक्कत आई है। पहले विधानसभा चुनाव और फिर लोकसभा चुनाव के कारण पेंशनर्स का सत्यापन का काम अटक गया। अब सत्यापन का काम लगभग पूरा है और जल्द ही सामाजिक सुरक्षा पेंशन स्ट्रीम लाइन होगी। वैसे हर माह हम सामाजिक सुरक्षा पेंशन के लिए 1 हजार करोड़ रुपए ट्रांसफर कर रहे हैं।