यह है मामला
जून, 2023 में तत्कालीन महापौर मुनेश गुर्जर और तत्कालीन अतिरिक्त आयुक्त राजेंद्र वर्मा के बीच बीट सिस्टम को लेकर विवाद हुआ था, जिसके बाद वर्मा ने राजकार्य में बाधा डालने, धमकी देने, अभद्र भाषा का उपयोग करने, महापौर के कक्ष में बंधक बनाने और जातिसूचक शब्दों का प्रयोग करने के आरोप लगाए। इसमें मुनेश गुर्जर, उप महापौर असलम फारुखी सहित 15 लोगों के नाम शामिल हैं।अभियोजन स्वीकृति मिलने पर निलंबन की संभावना
मामले में अनुसंधान के बाद पुलिस यदि चालान पेश करती है, तो अभियोजन स्वीकृति की आवश्यकता होगी। राज्य सरकार की ओर से स्वीकृति मिलने पर नगर पालिका एक्ट की धारा-39 के तहत इन पार्षदों का निलंबन हो सकता है, जिससे नगर निगम में राजनीतिक समीकरण प्रभावित हो सकते हैं।-अशोक सिंह, पूर्व विधि निदेशक