पीसीसी के बाहर मीडिया से चर्चा के दौरान गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष नए नवेले हैं। उनको पता नही है कि कैसे महात्मा गांधी ने देश की आजादी के लिए संघर्ष किया। पंडित जवाहर लाल नेहरू जेल में गए। इंदिरा गांधी और राजीव गांधी का बलिदान हो गया। वो इस तरीके की बातें करते है।
किसको खुश कर रहे राठौड़?
डोटासरा ने कहा कि मदन राठौड़ को कुछ भी कहने का अधिकार नहीं है। वो तो मोदी जी की फोटो लगाकर के शॉल ओढकर सोते है। उनके किसी कार्यक्रम में कोई नेता कितना ही बड़ा क्यों न हो। मोदी के चिन्ह का मफलर पहनता है। उनकी मजबूरी है, वो किसको खुश कर रहे हैं।
बीजेपी का एजेंडा- जनता का ध्यान भटकाओ
गोविंद सिंह डोटासरा ने कहा कि मदन राठौड़ की पार्टी और आरएसएस के लोग हैं। वो किस प्रकार से अंग्रेजों से मिले हुए थे। किस प्रकार से माफी मांग कर जेलों से बाहर आए। मुखबिर का काम करते थे। ये इतिहास के पन्नों में दर्ज है। इन लोगों को सोच समझ कर बोलना चाहिए। इनका एजेंडा एक ही है कि काम मत करो, जनता का ध्यान भटकाओ। ताकि जनता की समस्या का समाधान नहीं करना पड़े। इसलिए ये अनर्गल बयानबाजी करते हैं। उन्होंने कहा कि इनको जवाब देना चाहिए कि आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने कहा था कि भारत को असली आजादी तो उस दिन मिली जब राम मंदिर बना। क्या वो इस बयान से इत्तेफाक रखते है, अगर रखते है तो इससे बड़ी शर्म की कोई बात नहीं हो सकती। ये लोग ऐसी बातें करके बरगलाना चाहते है। क्योंकि काम ये कर नहीं सकते है।
मदन राठौड़ के पास कोई काम भी नहीं
डोटासरा ने कहा कि दिल्ली से पर्ची आती है, उतना ही काम करते है। मदन राठौड़ जी के पास कोई काम भी नहीं है। एक सामान्य कार्यकर्ता भी यही कर रहा कि मदन राठौड़ की नहीं चल रही है। उनकी डिजायर मान नहीं रहे है। ऐसे में इस तरह के बयानों के अलावा उनके पास कोई काम बचा नहीं है।