अब मंत्री ने याद दिलाया सीएम को 9 साल पुराना वादा स्थानीय लोगों की पुरजोर मांग के बाद मामले में अब स्थानीय विधायक और जलदाय मंत्री महेश जोशी ने सीएम को पत्र लिखकर मई 2013 में हज हाउस के उद्घाटन के दौरान स्कूल बनवाने की घोषणा को याद दिलाया है। जोशी ने पत्र में बताया है कि सीएम के पिछले कार्यकाल के दौरान करबला में बालिका स्कूल निर्माण की घोषणा आज भी अधूरी है। ऐसे में जल्द बालिकाओं के लिए नया स्कूल खोला जाए।
बालिकाओं का हो रहा है ड्रापआउट स्थानीय समाजसेवी अख्तर हुसैन ने बताया कि पिछले 15 सालों से यहां बालिकाओं के लिए सरकारी स्कूल खोलने की मांग की जा रही है। इस दौरान समाज के वरिष्ठ लोग लगातार जिम्मेदारों को पत्र लिखकर स्कूल बनाने की गुहार कर रहे हैं। बड़ी समस्या ये है कि आसपास बालिकाओं के लिए सरकारी स्कूल नहीं है। जिसके कारण ड्रापआउट हो रहा है।
2007 से आरक्षित है भूमि, फिर ताजा हुआ मुद्दा बालिका स्कूल के लिए यहां जेडीए की ओर से 2007 में 2240 वर्ग मीटर आरक्षित की गई। तब से स्थानीय लोग स्कूल बनवाने की काफी जद्दोजहद कर रहे हैं। इस बीच शिक्षा विभाग की ओर से भी काफी औपचारिकताएं पूरी की गईं। लेकिन लम्बा अंतराल गुजरने के बाद भी स्कूल निर्माण नहीं हो पाया। हालांकि नेताओं की ओर से स्कूल बनवाने के बार-बार वादे किए गए। करबला में एक माह पूर्व क्रिकेट आयोजन का विरोध कर रहे समाजसेवा दल के अध्यक्ष पप्पू कुरैशी और मुस्लिम परिषद संस्थान के अध्यक्ष यूनुस चौपदार ने यहां अब तक बालिका स्कूल न बनने का मुद्दा उठाया था। तब से ये मुद्दा फिर से ताजा हो गया है। फिलहाल भूमि पर स्कूल का बोर्ड लगा है और बाउंड्री भी हो चुकी है।