भिंड निवासी शिवेंद्र (परिवर्तित नाम) का विवाह 24 जून 2011 को हुआ था। विवाह के उपरांत पति-पत्नी के बीच विवाद होने लगे। पत्नी ने 2 जून 2015 को पति का घर छोड़ दिया। पति-पत्नी अलग-अलग रहने लगे। पति ने तलाक के लिए कुटुंब न्यायालय में परिवाद दायर किया। पति के आवेदन पर कोर्ट ने तलाक दे दिया। पत्नी ने तलाक की डिक्री को हाईकोर्ट में चुनौती दी। कोर्ट ने दोनों पक्षों को समझाया।
साथ ही दोनों पक्षों के वकीलों ने भी इस विवाद को खत्म करने के लिए अहम भूमिका निभाई। कोर्ट कहना है कि दोनों लंबे समय से अलग रह रहे हैं। दोनों के बीच काफी मतभेद बढ़ चुके हैं। दोनों का फिर से रिश्ता जुड़ने की संभावना नहीं दिख रही थी। इसके चलते अलग होना ही उचित है। कोर्ट के समझाने पर दोनों मान गए और आपसी सहमति से तलाक के लिए तैयार हो गए।
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