वायरलैस ऐंटी-सुसाइड सीलिंग फैन रॉड को आईटीएम इंजीनियरिंग कॉलेज बीटेक कम्प्यूटर साइंस प्रथम वर्ष के चार छात्र अविनाश, वरुण, अनुराग पाण्डेय, अनुप्राश गौतम ने मिलकर बनाया है।
अविनाश ने बताया कि यह डिवाइस ट्रांसमीटर और सेंसर बेस्ड है। उन्होंने बताया कि एंटी सुसाइट फैन में लगे ट्रांसमीटर सेंसर स्प्रिंग 30 किलोग्राम से ज्यादा वजन का दबाव पडऩे पर पंखा नीचे आ जाता है और 100 मीटर दूर रखे रिसीवर तक अलार्म के साथ रूम नंबर की जानकारी भेजता है। ये रिसीवर होटल गेस्ट हाउस के कर्मचारियों के पास लगा होगा ताकी इस तरह की घटना को समय रहते रोका जा सके। वहां मौजूद कर्मचारी मौके पर पहुंच कर पंखे से खुदखुशी करने वाले व्यक्ति की जान बचा सकते हैं। इसे बनाने में एक माह का समय लगा है और 750 रुपए का खर्च आया है।
वरुण ने बताया कि किसी भी होटल के रिसेप्शन में इसका कंट्रोल पैनल होगा। जैसे किसी भी रूम में घटना होगी तो सीधे उसी रूम में पहुंचकर घटना को रोका जा सकेगा। यह वायरलेस तकनीक पर आधारित है। उन्होंने बताया कि प्रोजेक्ट को बनाने के लिये हाई फ्रीक्वेंशी ट्रांसमीटर, रिसिवर, फैन रॉड 9वोल्ट बैटरी, अलार्म एंडीकेटर, का इस्तेमाल किया गया है।
आईटीएम कॉलेज के निदेशक डॉ. एन.के. सिंह ने बताया हमारे छात्रों द्वारा बनाया बनाये गये डिवाइस से सिलिंग फैन से खुदखुशी करने वाले लोगों की जान बचाई जा सकेगी। एक आंकड़े के मुताबिक देश में हर साल लगभग एक लाख से ज्यादा लोग किसी ना किसी वजह से आत्महत्या करते हैं। इनमे से 50 हजार से ज्यादा लोग घर में लगे सिलिंग फैन का सहारा लेते हैं। जल्द इस प्रोजेक्ट को स्टार्टअप के तहत बाजार में लाया जायेगा। इस प्रोडक्ट के जरिये सिलिंग फैन से झूल कर आत्महत्या करने वाले लोगों की जान बचाने में काफी मदद मिलेगी।
क्षेत्रीय वैज्ञानिक अधिकारी महादेव पांडेय ने बताया कि यह अविष्कार काफी अच्छा है। इससे आत्महत्या जैसे अपराध को रोकने में काफी मदद मिलेगी। ज्ञात हो कि भारत में आत्महत्या के मामलों में हर साल बढ़ोतरी हो रही है। एनसीआरबी की एक रिपोर्ट यही बता रही है। भारत में 2021 में कुल 1,64,033 लोगों ने आत्महत्या की थी। ये संख्या साल 2020 में 1,53,052 थी। इस रिपोर्ट के मुताबिक, आत्महत्या के मामलों में साल 2021 में 2020 की तुलना में 7.2 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। (आईएएनएस)