यह था मामला
जानकारी अनुसार कांस्टेबल अभिषेक के पिता ने कोतवाली थाने में 4 अक्टूबर 2019 को रिपोर्ट दी कि अभिषेक ड्यूटी के लिए घर से निकला था, जो रात तक घर पर नहीं लौटा। परिजनों ने तलाश और रिश्तेदारों के साथ उसके मित्रों के यहां पूछताछ की। बाद में पुलिस जांच में पाया कि सवाई माधोपुर के बोली थाना क्षेत्र निवासी साली श्यामा से अभिषेक प्रेम प्रसंग था। अभिषेक श्यामा पर शादी के लिए दबाव बना रहा था। उससे पीछा छुड़ाने के लिए श्यामा ने अपने बचपन के प्रेमी नावेद के साथ मिलकर अभिषेक की हत्या की साजिश रखी। जन्मदिन मनाने के बहाने बुलाया
श्यामा ने खुद का जन्मदिन मनाने के बहाने अभिषेक को बोली महल पर बुलाया। वहां नावेद ने अभिषेक के सिर पर सरिए से वार कर हत्या कर दी। उसका शव खण्डहर में दफन कर दिया। पुलिस ने इस मामले में जांच के बाद श्यामा के खिलाफ न्यायालय में आरोप पत्र पेश किया था।
इस मामले में सुनवाई के बाद विशिष्ट न्यायाधीश बालकृष्ण मिश्रा ने श्यामा को दोषी माना और उसे आजीवन कारावास की सजा से दण्डित किया। दूसरे अभियुक्त नावेद के खिलाफ अभी प्रकरण विचाराधीन है।