जिले में स्वाइन फ्लू का प्रकोप जुलाई माह से शुरू हुआ। अगस्त माह में तो इसकी इस कदर बढ़ी कि कई-कई दिन 20 से ज्यादा संक्रमित मिलने लगे। साथ ही इस बीच 9 संक्रमितों की मौत भी हो गई। इससे ऐसा लग रहा था कि कहीं कोराना की तरह विस्फोटक स्थिति तो नहीं बनने वाली।
सिम्स से लेकर अपोलो व अन्य निजी अस्पतालों में बड़ी संख्या में
स्वाइन फ्लू के मरीज भर्ती हुए। सितंबर माह लगते ही इसकी रफ्तार धीमी हुई। संक्रमितों का जो आंकड़ा रोजाना 10 से ऊपर का था, वह घट कर औसतन 5 मरीजों तक आया। जबकि पिछले दो दिन से जिले भर में 2-2 संक्रमित ही मिले। रविवार को भी दो नए मरीज मिले हैं। डॉक्टरों के मुताबिक बारिश के मौसम में स्वाइन फ्लू के जीवाणु ज्यादा सक्रिय हो जाते हैं, इसी वजह इसका संक्रमण जुलाई व अगस्त माह में ज्यादा था। अब जबकि बारिश थमने लगी है तो इसका संक्रमण भी धीरे-धीरे कम होने लगेगा।
फैक्ट फाइल
रविवार को 2 नए संक्रमित मिले
अब तक जिले के 9 संक्रमितों की मौत
अब तक मिले कुल संक्रमितों की संख्या 176
वर्तमान में एक्टिव मरीज-11
हैल्पलाइन नंबर
सिस-75874-85907
जिला अस्पताल 07752480251
अपोलो अस्पताल-97555-50834
स्वास्थ्य विभाग का टोल फ्री नंबर-104
Swine Flu: अब तक 176 संक्रमित मिल चुके, 9 की जा चुकी जान
जुलाई माह से लेकर अब तक जिले में कुल 176 स्वाइन फ्लू पॉजिटिव मिल चुके हैं। इसमें 156 मरीज जो विभिन्न अस्पतालों में भर्ती थे या होम आइसोलेशन में थे, वे अब स्वस्थ हो चुके हैं। जबकि इस संक्रमण से 9 लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ी। बारिश के मौसम में उमस भरी गर्मी स्वाइन फ्लू के जीवाणुओं को सक्रिय करने में मदद करती है। ऐसे में जिनकी रोगप्रतिरोधक क्षमता कमजोर है, वे इस जीवाणुओं से संक्रमित हो जाते हैं। यही वजह है कि स्वाइन फ्लू से ज्यादातर बुजुर्ग संक्रमित हुए। इसी तरह जिन्हें पहले से ही डायबिटीज, बीपी, हार्ट या अन्य कोई बड़ी बीमारी थी, ऐसे 9 संक्रमितों की मौत हो गई। बारिश का मौसम समाप्त होते ही अपने आप इसका संक्रमण घटने लगेगा।