इसी के साथ उन्होंने भोपाल में स्थित हलालपुर बस स्टेंड और लालघाटी का नाम बदलने की बात कही। इसके पीछ तर्क देते हुए उन्होंने कहा कि, ‘हलाल’ नाम ‘अशुद्ध’ है। इसे हटाना चाहिए। मेरा प्रस्ताव और अनुशंसा है कि, हलालपुरा बस स्टैंड का नाम हनुमानगढ़ी बस स्टैंड हो। वहीं, लालघाटी का नाम बदलने के पीछे तर्क देते हुए उन्होंने कहा कि, लालघाटी चौराहे पर कई हत्याएं हुई हैं। हताहत करके हत्या की गई। कई वीर-वीरांगानाएं यहां शहीद की गईं। इसलिए हम उसे याद न करते हुए नमन करें और चौराहे का नाम ‘श्री महेंद्रनारायण दास जी महाराज सर्वेश्वर चौराहा’ रखा जाए। इसपर सदन के अध्यक्ष सूर्यवंशी ने दोनों प्रस्तावों को पारित किए जाने का आश्वासन भी दिया है। इस पर सदन ने तालियां बजाकर स्वागत किया।
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हंगामेदार रही मीटिंग
भोपाल नगर निगम परिषद की कार्यवाही के दौरान प्रश्नकाल में कुल 10 सवाल उठाए गए। सबसे ज्यादा हंगामा अतिक्रमण अधिकारी कमर शाकिब की योग्यता पर हुआ। नेता प्रतिपक्ष शबिस्ता जकी ने शाकिब की योग्यता पर सवाल किया, जिसपर एमआईसी सदस्य आनंद अग्रवाल जवाब नहीं दे सके। तो दूसरे मेंबर रविंद्र यती को जवाब देने उठना पड़ा। नेता प्रतिपक्ष ने राइटिंग में जवाब मांगा और कांग्रेसी पार्षदों के साथ अध्यक्ष की कुर्सी के सामने धरने पर बैठ गईं। इसके बाद अध्यक्ष किशन सूर्यवंशी ने कमिश्नर केवीएस चौधरी कोलसानी को जांच का आदेश दिया। तब कहीं जाकर मामला शांत हो पाया। विंड पॉवर के प्रस्ताव पर आपत्ति होने पर कमिश्नर ने तुरंत प्रजेंटेशन दिया।
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