भोपाल। वर्ष 2019 के सितंबर में विभिन्न ग्रहों की चालों ( astrology ) या राशि परिवर्तनों ( rashi parivartan ) का दौर जारी है। इसी के चलते जहां 10सितम्बर 2019 (मंगलवार) को शुक्र ने सिंह से कन्या में राशि परिवर्तन किया, वहीं इसके ठीक अगले ही दिन यानि 11सितम्बर 2019 (बुधवार) को बुध ने भी सिंह से कन्या में राशि परिवर्तन कर लिया।
वहीं इसके बाद 17 सितम्बर, 2019 यानि मंगलवार को सूर्य भी राशि परिवर्तन करते हुए कन्या राशि ( surya rashi parivartan ) में पहुंच गए, वहीं 18 सितंबर,2019 यानि बुधवार को शनिदेव भी मार्गी ( margi shani ) हो गए हैं। सूर्य व शनि का ये परिवर्तन भी सभी 12 राशियों के जातकों को अब अत्यधिक प्रभावित करेगा।
सूर्य के एक राशि से दूसरे राशि में प्रवेश करने को ही संक्रांति कहा जाता है। चूंकि सूर्य ( surya dev ) आत्मा, पिता, मान-सम्मान और उच्च सरकारी सेवा का कारक माना जाता है इसलिए सूर्य के गोचर का प्रभाव अधिक महत्वपूर्ण हो जाता है।
माना जाता है कि सूर्य के शुभ प्रभाव से व्यक्ति को सरकारी और अन्य सेवाओं में बड़े पदों की प्राप्ति होती है। यह सिंह राशि का स्वामी है और मेष राशि में उच्च अवस्था में माना जाता है, जबकि तुला इसकी नीच राशि है।
सूर्य के गोचर का प्रभाव :Sun Effects on all 12 zodiac sings … ज्योतिष शास्त्र के अनुसार सूर्य के शुभ प्रभाव से हर तरह की सेवाओं में उच्च पद की प्राप्ति होती है और व्यक्ति वैभवशाली जीवन व्यतीत करता है। वहीं सूर्य के अशुभ प्रभाव से मान-सम्मान में कमी, पिता को कष्ट और नेत्र पीड़ा की संभावना रहती है।
वहीं सूर्य देव 17 सितम्बर 2019, मंगलवार को सूर्य दोपहर 12:43 बजे कन्या राशि में गोचर कर गया है और 18 अक्टूबर 2019, शुक्रवार 00:41 बजे तक इसी राशि में स्थित रहेगा। ऐसे समझें सूर्य के राशि परिवर्तन का आप पर प्रभाव व बचाव के उपाय : Surya ka Kanya rashi mein gochar …
1. मेष राशि / effects of surya on aries सूर्यदेव आपकी राशि से षष्टम भाव में गोचर करेगा। यह भाव शत्रु व रोग भाव कहलाता है। इस भाव में सूर्य का जाना आपके लिए कई परेशानियों से मुक्ति दिलाने वाला साबित होगा। कोर्ट कचहरी से जुड़े मामलों में आप सफलता मिलेगी। कार्यस्थल पर आप के वरिष्ठ अधिकारी आपसे प्रसन्न रहेंगे और जरूरत पड़ने पर आवश्यक सहयोग भी करेंगे।
इस दौरान खर्चों में बढ़ौतरी के बीच नौकरी और कार्यक्षेत्र में आपका दबदबा बढ़ेगा। आपके विरोधी आपके सामने आने की हिम्मत नहीं कर पाएंगे और इसलिए भी यह गोचर आपके लिए काफी सकारात्मक साबित होगा। सरकारी क्षेत्र से या सरकार की किसी योजना से आपको लाभ मिलेगा और आपके निजी जीवन में ख़ुशियां बनी रहेंगी।
उपाय: रात्रि में तांबे के पात्र में जल भरकर सिरहाने रख दें तथा अगले दिन प्रातः काल उसे पिएं। 2. वृषभ राशि / effects of surya on Tauras इस दौरान सूर्य देव आपके पंचम भाव में गोचर करेंगे। पंचम भाव को संतान, बुद्धि का घर माना जाता है।
सूर्य का गोचर इस भाव में होने के कारण आपको कुछ कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है। इस दौरान कुछ के करियर में ज़बरदस्त सफलता मिलने के योग बनेंगे। वहीं कई के कार्यक्षेत्र में स्थितियां बदल सकती हैं, जिससे उनका वरिष्ठ अधिकारियों से तालमेल बिगड़ सकता है। बेहतर यही है कि उनसे अच्छे संबंध कायम रखें तभी आप कुछ अच्छे की उम्मीद लगा सकते हैं।
इस समय मुख्य रूप से आप असमंजस की स्थिति में रहेंगे, जिसके कारण किसी प्रकार के महत्वपूर्ण निर्णय लेने में आपको समस्या आ सकती है। इस गोचर का अनुकूल परिणाम आपके जीवनसाथी को भी प्राप्त होगा और उन्हें आंशिक रूप से धन लाभ होगा तथा उनके माध्यम से आपको भी धन लाभ होने की संभावना बनेगी। इस दौरान की गई यात्राएं आपके लिए अधिक शुभ फलदायक नहीं होंगी इसलिए यात्रा के दौरान थोड़ा ध्यान रखें तथा कुछ यात्राओं को आगे के लिए टाल दें।
उपाय: आदित्य हृदय स्तोत्र का नियमित पाठ करें। MUST READ : बुध ने किया कन्या राशि में प्रवेश3. मिथुन राशि / effects of surya on gemini सूर्य देव इस गोचर के दौरान आपकी राशि से चतुर्थ भाव में प्रवेश करेंगे। चतुर्थ भाव को माता या सुख का भाव माना जाता है।
सूर्य के इस गोचर के परिणाम स्वरूप आपकी पारिवारिक स्थिति में उतार चढ़ाव आएगा। इस समय में वैवाहिक जीवन में भी कुछ परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है हालांकि आपके जीवनसाथी को कार्यक्षेत्र में ज़बरदस्त सफलता एवं पदोन्नति मिलने के योग बनेंगे।
वहीं आपका रवैया परिवार के लोगों को पसंद नहीं आएगा। इस दौरान मानसिक तनाव में वृद्धि होगी साथ ही आपका स्वास्थ्य कुछ कमजोर पड़ सकता है। जबकि इस समय में माता जी के स्वास्थ्य का ध्यान रखना भी आपके लिए आवश्यक होगा। घरेलू मुद्दे ही आपका अधिकांश समय चाहेंगे इसलिए इनका जल्द से जल्द निपटारा आपके लिए बेहतर होगा।
उपाय: भगवान विष्णु की उपासना करें। 4. कर्क राशि / effects of surya on Cancer इस गोचर के दौरान सूर्य देव आपकी राशि से तृतीय भाव में संचरण करेंगे। तीसरा भाव भाई-बहनों के अलावा पराक्रम का भाव भी माना गया है। तीसरे भाव में सूर्य का गोचर अनुकूल माना जाता है।
जिसके चलते इस समय में आपके कार्यों की प्रशंसा होगी और आपके वरिष्ठ अधिकारी भी आपसे खुश रहेंगे। आपके सामाजिक दायरे में बढ़ोतरी होगी और समाज के प्रतिष्ठित लोग आपके संपर्क में आएंगे। समाज में मान और यश की प्राप्ति होगी तथा कार्य क्षेत्र में भी उत्तम परिणामों की प्राप्ति होने की प्रबल संभावना बनेगी। विरोधियों पर आपका डर बना रहेगा।
वहीं इस गोचर के परिणाम स्वरूप आप में चुनौतियों का सामना करने के लिए पर्याप्त आत्मबल होगा और आप किसी भी चुनौती को हाथों-हाथ लेंगे। आप अपने भाई बहनों की आर्थिक रूप से मदद भी करेंगे तथा उनकी सुख सुविधाओं का ध्यान रखेंगे। आप अपने लक्ष्य को पाने का हर संभव प्रयास करेंगे और उसके लिए ज़बरदस्त तरीके से मेहनत भी करेंगे। उपाय: “ॐ घृणि सूर्याय नमः’’ मंत्र का जाप करें।
5. सिंह राशि / effects of surya on Leo सूर्य इस दौरान आपके द्वितीय भाव में गोचर करेंगे। दूसरा भाव पैत्रिक संपत्ति के साथ ही हमारी वाणी का भी भाव कहा गया है। दूसरे भाव में सूर्य का गोचर अधिक अनुकूल नहीं होता इसलिए इस दौरान आपको थोड़ा देखभाल कर चलना होगा। अपने शब्दों में कड़वाहट और कटुता से आपको बचना होगा और किसी को भी अपशब्द नहीं बोलने, जिससे उनकी भावना आहत हो बल्कि सभी से प्रेम पूर्वक वार्तालाप करना बेहतर रहेगा।
इस दौरान एक ओर आपकी मानसिक चिंताएं बढ़ेगी तो दूसरी ओर शारीरिक समस्याओं का सामना भी आपको करना पड़ सकता है। संक्रमण जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। इस समय धन संबंधित मामलों में सोच समझ कर ही हाथ डालें और पूरी समझदारी बरतें। आपको अपने निकटतम रिश्तेदारों तथा मित्रों से भी व्यर्थ वाद विवाद से बचना होगा। पारिवारिक मामलों के कारण आपका मानसिक तनाव बढ़ सकता है।
कुल मिलाकर आपके पारिवारिक जीवन में कुटुंब के लोगों में किसी बात को लेकर झगड़ा हो सकता है, इस दौरान आपको मध्यस्थ की भूमिका निभाकर झगड़े को समाप्त करवाना ही उचित रहेगा। उपाय: अपने हाथ में मौली अर्थात कलावा छह बार लपेट कर बांधे।
6. कन्या राशि / effects of surya on Virgo इस समयावधि में सूर्य आपके प्रथम भाव अर्थात लग्न भाव में गोचर करेंगे। प्रथम भाव को स्व भाव भी कहा जाता है। इस भाव के द्वारा जातक के शरीर, शारीरिक रंग-रूप और बनावट, व्यवहार आदि को देखा जाता है।
इस दौरान इस दौरान विदेश में रह रहे जातकों अथवा विदेशी कंपनियों में काम करने वाले लोगों को अधिक लाभ मिलने की संभावना रहेगी।जबकि अधिकांश इस राशि के जातकों को इस समय धन संबंधित मामलों में कोई ना कोई समस्या आ सकती है। साथ ही यदि आप कोई गलत कार्य करते हैं, तो इस दौरान समाज में आपका नाम खराब हो सकता है।
जबकि कार्य और व्यवसाय के सिलसिले में आपको परिवार से कुछ समय के लिए दूर जाना पड़ सकता है, वहीं तनाव और अहम की भावना आपके जीवन को प्रभावित करेगी। स्वास्थ्य से संबंधित तकलीफ़ें आ सकती हैं। तेज बुखार, चित्त की व्याकुलता, अधिक मानसिक तनाव, अनिर्णय की स्थिति, जैसी कुछ समस्याएं आपके सामने आ सकती हैं, इसलिए अपनी सेहत का पूरा ध्यान रखें। अपने आलस्य को दूर रखने में आपको वक्त नहीं लगाना चाहिए, अन्यथा समस्या बढ़ सकती हैं और आप अपने मुख्य कार्यों से वंचित हो सकते हैं।
उपाय: प्रतिदिन गायत्री मंत्र का जाप करें। 7. तुला राशि / effects of surya on Libra सूर्य आपकी राशि से द्वादश भाव में प्रवेश करेंगे। यह भाव मुख्य रूप से व्यय भाव कहलाता है।
इस गोचर के दौरान आपको विदेश जाने का मौका मिल सकता है और यदि आप इस सिलसिले में पहले से ही प्रयास कर रहे हैं तो आपको सफलता मिल सकती है। मल्टीनेशनल कंपनी में कार्य करने वाले लोगों को अच्छा लाभ मिल सकता है।
वहीं इस समय स्वास्थ्य का खास ध्यान रखना होगा। कार्य में अधिक व्यस्तता भी परिवार से दूरी का कारण बन सकती है। इस अवधि में यात्रा के दौरान आपको सावधानी बरतनी चाहिए। आपके ख़र्चों में अधिक वृद्धि के चलते आर्थिक स्थिति पर बुरा असर पड़ेगा। यदि अपने दोस्तों के साथ कोई मनमुटाव हो तो उसे तुरंत दूर कर लें और बात को अधिक न बढ़ाएं।
इस गोचर के दौरान कोई भी ऐसा कार्य न करें, जिसका परिणाम आपके मान की हानि हो। आपको अपने विरोधियों से भी सावधान रहें। उपाय: गेहूं, तांबा एवं गुड़ का दान करें। 8. वृश्चिक राशि / effects of surya on scorpio सूर्य देव आपकी राशि से एकादश भाव में रहेंगे। एकादश भाव को आय भाव कहा जाता है।
सूर्य का यह गोचर आपके लिए काफी सकारात्मक रहेगा और आपको एक से अधिक स्रोतों से लाभ मिलने की आशा करनी चाहिए। इस दौरान अपने वरिष्ठ अधिकारियों के सहयोग से आप जीवन में आगे बढ़ेंगे और लाभ प्राप्ति की संभावनाओं को तलाशेंगे। इस दौरान कोई बड़ी उपलब्धि हाथ लग सकती है।
सरकारी क्षेत्र से लाभ मिलने की पूरी संभावना रहेगी। किसी दीर्घावधि की परियोजना में आपको अत्यधिक लाभ प्राप्त होगा। वहीं आपकी आमदनी में ज़बरदस्त वृद्धि होगी और ख़र्चों पर अंकुश लगेगा, जिससे आप अपनी आर्थिक स्थिति को सुधार पाने में सफल होंगे।
आप अपने शत्रुओं पर विजय प्राप्त करेंगे और वह आपके सामने आने की हिम्मत नहीं जुटा पाएंगे। अपने पिता का पूरा सम्मान करें और उनसे आशीर्वाद लें, ये आपके लिए अत्यधिक लाभकारी होगा। प्रेम संबंधों में कुछ कमी आ सकती है और आपको इस बात का ध्यान रखना चाहिए अन्यथा अलगाव की स्थिति उत्पन्न हो सकती है।
उपाय: लाल चन्दन को घिस कर स्नान के जल में मिलाएं और उसी जल से स्नान करें। IMAGE CREDIT: patrika9. धनु राशि / effects of surya on Sagittarius सूर्य आपकी राशि से दशम भाव में गोचर करेगा। इसे कर्म भाव या पिता भाव भी कहा जाता है।
आपके लिए ये गोचर अत्यधिक शुभ रहने की ओर इंगित कर रहा है। इस दौरान आपको अपनी नौकरी में अनुकूलता मिलेगी और पदोन्नति के अवसर प्राप्त होंगे। आपकी आमदनी में वृद्धि होगी और कार्यक्षेत्र में आपकी साख मजबूत होगी। इस दौरान सरकार से अर्थात सरकारी क्षेत्र से किसी प्रकार का लाभ मिलने के अच्छे संकेत दिखाई देते हैं।
नौकरी में मनचाहा ट्रांसफर अथवा स्थान परिवर्तन के योग भी बन सकते हैं, यह परिवर्तन आपको सफलता की ऊंचाइयों पर लेकर जाएगा।समाज में आपका रुतबा बढ़ेगा और प्रभावशाली हस्तियों से आपके संपर्क बनेंगे जो आने वाले समय में आपके भाग्य को मजबूत बनाने में आपकी सहायता करेंगे।
इस दौरान आपको अपने भाग्य का पूरा साथ मिलेगा और जिस काम में आप हाथ डालेंगे, उसी में सफलता अर्जित करेंगे। पारिवारिक जीवन में थोड़ी अशांति ज़रूर रह सकती है। उपाय: लाल गाय को रविवार के दिन दोपहर के समय दोनों हाथों में गेहूं भरकर खिलाएं।
10. मकर राशि / effects of surya on Capricorn सूर्य आपके इस समयावधि में आपसे नवम भाव में गोचर करेगा। नवम भाव को हमारे भाग्य भाव के नाम से जाना जाता है। इस अवधि में आपको थोड़ा उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ सकता है। अचानक से कुछ काम बनते बनते रह सकते हैं और कुछ काम अचानक से बन सकते हैं।
इस दौरान आपको कुछ भी ऐसा करने से बचना चाहिए जो विधि एवं कानून के विरुद्ध हो, अन्यथा आपकी मानहानि होने की संभावना बनेगी। इस दौरान पैतृक संपत्ति मिलने की संभावना काफी प्रबल है।
सूर्य का नवम भाव में गोचर आपके पिताजी के स्वास्थ्य पर असर डाल सकता है। इसके अलावा धन की हानि से बचने के लिए धन संबंधित मामलों में लेन देन में काफी सावधानी बरतनी होगी। आपको भी स्वास्थ्य संबंधित कुछ तकलीफें परेशान कर सकती हैं। किसी भी प्रकार के तनाव को स्वयं पर हावी ना होने दें।
इस दौरान मुमकिन है कि किसी खास मुद्दे पर आपका वरिष्ठ लोगों से वैचारिक मतभेद हो जाए। उपाय: पिता का सम्मान करें और प्रातः काल जल्दी उठें। 11. कुंभ राशि / effects of surya on Aquarius सूर्य आपकी राशि से अष्टम भाव में गोचर करेगा। अष्टम भाव को वैदिक ज्योतिष में काफी रहस्यमय माना गया है, वहीं इसे आयु भाव भी कहा जाता है।
अष्टम भाव में सूर्य के जाने से इस दौरान आपके शत्रु प्रबल हो सकते हैं, इसलिए उनके प्रति सचेत रहें। अपने स्वास्थ्य का पूरा ध्यान रखें और किसी भी रोग की स्थिति में तुरंत डॉक्टरी परामर्श लें।
वहीं इस अवधि में आपको किसी वाद विवाद का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि आपको बात को बढ़ने से रोकने का प्रयास करना चाहिए। दांपत्य जीवन में भी तनाव बढ़ सकता है और संभावना है कि आपका अपने जीवनसाथी अथवा ससुराल पक्ष के लोगों से मनमुटाव हो।
इस दौरान किसी भी तरह के गैर कानूनी कार्यों से दूर रहें और अपने जीवन साथी के स्वास्थ्य का पूरा ध्यान रखें। अनचाहे खर्चे भी आपको उठाने पड़ सकते हैं। इसका असर आपकी आर्थिक स्थिति पर प्रतिकूल रूप से पड़ सकता है।
उपाय: रविवार के दिन लाल चन्दन मिले हुए जल से सूर्य देव को अर्घ्य दें। 12. मीन राशि / effects of surya on Pisces सूर्य इस गोचर के दौरान आपकी राशि से सप्तम भाव में रहेगा। इसे विवाह भाव भी कहते हैं।
इस गोचर की अवधि में व्यापार के लिए परिस्थितियां अभी आपके अनुकूल नहीं हैं, लिहाजा बिज़नेस के मामले में कोई भी बड़ा निर्णय लेने से बचना चाहिए। वहीं यदि आप किसी प्रकार की नौकरी करते हैं, तो आपको कोई शुभ समाचार मिल सकता है, जिसके बाद आपके चेहरे की रौनक देखते ही बनेगी।
वहीं दांपत्य जीवन में तनाव बढ़ने की संभावना काफी प्रबल रहेगी और आपके अपने जीवनसाथी से मतभेद हो सकते हैं। आपके रिश्ते में तनाव की वजह होगी अहम की लड़ाई, जिस को नियंत्रण में रखने के लिए आप दोनों को ही प्रयास करना चाहिए।
इस गोचर के दौरान आपके जीवनसाथी और उनके साथ ही साथ आपकी संतान के स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर पड़ सकता है। इसलिए इन सभी की सेहत का ध्यान रखें। इस समय अंतराल में यदि आप किसी यात्रा पर जा रहे हैं, तो थोड़ा सावधान रहें। साथ ही इस समयावधि में आपको पेट दर्द, अपच, मानसिक तनाव और सिर दर्द जैसी समस्याएं परेशान कर सकती हैं।
उपाय: प्रातः काल सूर्योदय के पूर्व उठें और लाल रंग के पुष्प वाले पौधों एवं वृक्षों को जल से सिंचित करें। मार्गी शनि का प्रभाव Saturn Effects on all 12 zodiac sings …
जहां एक ओर 17 सितंबर 2019 को सूर्य ने राशि परिवर्तन किया है। वहीं इसके ठीक अगले ही दिन यानि 18 सितंबर 2019, बुधवार को शनिदेव भी मार्गी हो गए हैं। इससे पहले शनि देव 30 अप्रैल को सुबह 6:20 पर वक्री हुए थे। जबकि इनका वक्री मार्गी होना ज्योतिष के लिए भी बड़ी घटना माना जा रहा है। वहीं शनिदेव 18 सितंबर को दोपहर 2:15 पर मार्गी हो गए हैं।
इसके पीछे कारण ये है कि वक्री शनि जातकों के जीवन में भारी उतार-चढ़ाव लाते हैं किंतु मार्गी होने पर इनके अशुभ प्रभाव में कुछ कमी आ जाती है और दृष्टि भी अपेक्षाकृत शीतल हो जाती है।
ऐसे में माना जा रहा है कि इनके मार्गी होते ही पृथ्वी पर हो रही प्राकृतिक आपदाओं में कमी आएगी। वहीं शनिदेव 26 जनवरी 2020 को मार्गी अवस्था में ही अपनी स्वयं की राशि मकर में प्रवेश करेंगे। पंडित सुनील शर्मा के अनुसार शनि की इस चाल का सभी 12 राशियों पर अलग अलग असर पड़ेगा।
2. वृषभ राशि- शुभता में कुछ कमी आएगी। कार्य क्षेत्र में अपने उच्चाधिकारियों से मधुर संबंध रखें। 3. मिथुन राशि- शनि शादी-विवाह के दायित्व की पूर्ति तो कराएंगे साथ ही व्यापार के क्षेत्र में भी कुछ बेहतर करने का योग बनाएंगे। साझा व्यापार से बचें।
4. कर्क राशि- शनि इस समयावधि में ऋण, रोग और शत्रुओं से मुक्ति दिलाएगा। अपनी कार्य योजनाएं गुप्त रखें। शत्रुओं से बचें। 5. सिंह राशि- संतान संबंधी थोड़ी सी चिंता बढ़ सकती है। शिक्षा प्रतियोगिता में अपेक्षाकृत बेहतर लाभ देगा। भावनाओं पर नियंत्रण रखते हुए इस अवधि में अति विश्वास से बचें।
7. तुला राशि- यह समय अति शुभ फलदाई रहेगा। आपके निर्णय और किए गए कार्यों की सराहना होगी, मतभेद से बचें। 8. वृश्चिक राशि- शनि के इस मार्गी काल में आकस्मिक धन प्राप्ति के योग बनेंगे। लेकिन किन्हीं कारणोंवश मानसिक संतुलन भी प्रभावित होगा। सावधान रहते हुए अंतिम निर्णय गोपनीय रखें।
9. धनु राशि- मार्गी शनि अपेक्षाकृत बेहतर परिणाम देंगे। प्रभाव में वृद्धि के साथ ही केंद्र या राज्य सरकार के प्रमुख प्रतिष्ठानों से लाभ की संभावना है। 10. मकर राशि- इस काल में शनि अधिक खर्च और भागदौड़ से कुछ परेशानी ला सकते हैं। अत:व्यर्थ की भागदौड़ और अधिक खर्च से बचें ।
11. कुंभ राशि- शनि का मार्गी होना कार्य व्यापार के क्षेत्र में अच्छे लाभ देगा, लेकिन साथ ही ये बड़े भाइयों से मनमुटाव भी देगा। 12. मीन राशि- इस दौरान कार्य की दृष्टि से समय अपेक्षाकृत बेहतर रहेगा। वहीं शनि माता-पिता से दूर रख सकते हैं। जबकि कुछ कारण मानसिक पीड़ा दे सकते हैं।
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