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World Green Roof Day: कोरोना ने सिखायी सब्जियों की कीमत, घर की छत पर लगा डाले 1 हजार पौधे

-कम स्पेस में पौधे लगाकर घर को नया लुक दे रहे गार्डन लवर्स-जमीन के साथ छतों पर भी क्रिएट कर रहे गार्डन, घर का तापमान रहता है नियंत्रित

भोपालJun 06, 2023 / 01:41 pm

Astha Awasthi

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planting

भोपाल। क्लाइमेट चेंज के चलते लोग ग्रीनरी को लेकर जागरूक हो रहे हैं। वे अपने घरों में ज्यादा से ज्यादा पौधे लगा रहे हैं। कुछ लोग जमीन पर गार्डन क्रिएट कर रहे हैं तो जिनकी घरों में स्पेस कम है, वे अपने घरों की छतों पर प्राकृतिक माहौल दे रहे हैं। शहर के नेचर लवर्स घरों को ग्रीन बना रहे हैं। इतना ही नहीं, वे बारिश के पानी का स्टोर करने और सोलर पैनल के जरिए बिजली पैदा करने पर जोर दे रहे हैं। एक्सपर्ट्स का कहना है कि ग्रीन रूफ से घर का तापमान नियंत्रित रहता है।

घर के वातावरण को साफ और स्वच्छ रखने में तथा प्रकृति से जुड़े रहने में मदद मिलती है। साथ ही ताजी और ऑर्गेनिक सब्जियां और फल भी घर में रही उगा सकते हैं। जब आप गार्डनिंग करते हैं तो शारीरिक रूप से भी एक्टिव रहते हैं। इससे भी आपकी एक्सरसाइज हो जाती है। साथ ही घर की हवा में ऑक्सीजन की मात्रा बढ़ती है, जो आपको स्वस्थ रखती है।

10 साल में लगाए एक हजार पौधे

साकेत नगर निवासी शिल्पा लांबोर बताती हैं कि मुझे बचपन से ही गार्डनिंग का शौक था। दस साल से ये कर रही हूं। आज एक हजार से ज्यादा पौधे मेरे टेरिस गार्डन में मौजूद हैं। मैं उनकी देखभाल बच्चों की तरह करती हूं। उनकी ग्रोथ के लिए घर से निकलने वाले कचरे से खाद तैयार करती हूं। साथ ही गार्डन को अट्रैक्टिव बनाने के लिए कुछ मूर्तियां भी शामिल की हैं। मैं ज्यादातर लोगों को गिफ्ट में अपने हाथ से लगे पौधे ही देती हूं। मेरी 900 वर्गफीट की छत में 1500 गमले लगाए हैं, जिनमें 400 प्रजातियों के फूल खिलते हैं। खूबसूरत बढ़ाने सजावटी मूर्तियां भी रखी हैं।

ड्रिप इरिगेशन सिस्टम पर कर रहे हैं काम

साकेत नगर निवासी शैलेष अग्रवाल बताते हैं कि कोविड के समय उनको पेड़-पौधे और ताजी सब्जियों की कीमत समझ आई। इसके बाद कोविड के समय ही अपनी छत पर कई तरह की सब्जियों और वातावरण को स्वच्छ रखने वाले पौधों को लगाया। अभी तक अपनी छत पर 70 से ज्यादा गमले लगा चुका हूं। साथ ही बारिश के पानी को स्टोर भी करता हूं, इससे पूरे साल पौधों की ड्रिप इरिगेशन सिस्टम से सिंचाई करता हूं।

घर के तापमान में पांच डिग्री का अंतर आया

अवधपुरी निवासी विमल कुमार साहू ने बताया कि छत पर पौधे लगाने का आइडिया एक परिचित को देखकर आया था। दो साल पहले छत पर गार्डन तैयार किया। अब तक करीब 100 से ज्यादा पौधे लगा चुका हूं। इससे मन को शांति मिलती है, साथ ही विभिन्न प्रजातियों के पक्षी भी वहां आकर अपना आवास बनाते हैं। जब से छत पर पौधे लगाए है, तब से गर्मियों में घर का तापमान करीब 5 डिग्री तक कम रहता है। इससे बिजली की भी बचत होती है। ये भी पर्यावरण संरक्षण के लिए जरूरी है।

शहर ही नहीं हमारा देश भी बड़े पैमाने पर बिजली संकट का सामना कर रहा है। पानी के स्रोत सीमित हैं। वर्ल्ड बैंक का अनुमान है कि अगले दो दशकों में भारत ने अगर पानी प्रबंधन के लिए गंभीर पहल नहीं की तो गहरा संकट पैदा हो जाएगा। इस वजह से जितना हो सके छत पर पेड़ लगाकर बिजली की बचत करें और बारिश के पानी को स्टोर कर सिंचाई करें।

– आरएस यादव, हॉर्टिकल्चर विशेषज्ञ

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