यह तो महज बानगी
केस 01 – बच्चों को हल करवा रहे थे प्रश्न राजकीय माध्यमिक विद्यालय रोहाल में सुबह आठ बजकर 56 मिनट पर दो कक्षों में कुल 37 बच्चों को बिठाकर परीक्षा ली जा रही थी। एक कक्ष में अध्यापिका स्वयं कागज पर उत्तर लिखकर बच्चों को प्रश्न हल करवा रही थी। संवाददाता के पहुंचते ही कागज को छुपाने का प्रयास किया गया।
केस दो- श्याम पट्ट पर लिखे थे उत्तर राजकीय माध्यमिक विद्यालय कोणा में सुबह 9 बजकर दस मिनट पर 39 परिक्षार्थियों को दो कमरों में बिठाकर परीक्षा ली जा रही थी। एक कक्ष में अध्यापिका की ओर से श्याम पट्ट पर प्रश्नों के उत्तर लिखकर बच्चों को नोट बुक में लिखने की हिदायत दी जा रही थी। यहां संवाददाता के पहुंचते ही श्याम पट्ट पर लिखे उत्तर मिटाए गए।
केस 03- एक दूसरे के पास उत्तर पुस्तिका राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय डकारकुंडी में सुबह 9बजकर 23 मिनट पर दो कमरों में 63 बच्चों की परीक्षा ली जा रही थी। यहां उत्तर पुस्तिकाएं बच्चों की एक दूसरे के पास थी, जिससे सहज अंदाजा लगाया जा सकता है कि परीक्षा कैसे हो रही होगी। ऐसे ही हाल राउमावि आमजा में सुबह पौने दस बजे दो कमरों में 47 बच्चों के परीक्षा के परीक्षा देने के दौरान भी नजर आए।
जिले की फैक्ट फाइल
कुल पंजीकृत विद्याथी – 46491 छात्र पंजीकृत- 23796
छात्राएं पंजीकृत- 22695 परीक्षा केंद्र- 729
संग्रहण केंद्र- 22