श्रीरामुलु ने मीडिया से कहा कि कर्नाटक के प्रभारी भाजपा महासचिव राधामोहन दास अग्रवाल ने मंगलवार रात पार्टी की प्रदेश कोर कमेटी की बैठक के दौरान उपचुनाव में हार के लिए उन्हें जिम्मेदार ठहराया।
उन्होंने कहा, मैंने उनसे पूछा कि वे ऐसा कैसे कह सकते हैं, क्योंकि मैंने आखिरी दिन तक पार्टी के लिए प्रचार किया। मैंने भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बीवाई विजयेंद्र से भी कहा कि जब ऐसे आरोप लगाए गए तो उन्हें मेरा बचाव करना चाहिए था। मुझे दुख है कि उन्होंने ऐसा नहीं किया।
श्रीरामुलु के अनुसार, उनके खिलाफ आरोप भाजपा विधायक जनार्दन रेड्डी के शब्दों के आधार पर लगाए गए थे। पूर्व मंत्री ने कहा, मैंने पार्टी नेतृत्व से कहा कि अगर मेरी वजह से पार्टी को नुकसान हुआ है, तो मैं बाहर निकलने को तैयार हूं। श्रीरामुलु ने आरोप लगाया कि खनन कारोबारी रेड्डी को जब से बल्लारी लौटने की अनुमति मिली है, तब से वे उनके जैसे नेताओं को राजनीतिक रूप से खत्म करने की कोशिश कर रहे हैं।
उन्होंने कहा, रेड्डी ने बल्लारी आने के बाद उन्होंने अपना खुद का समूह शुरू कर दिया। वह हमें राजनीतिक रूप से खत्म करने की कोशिश कर रहे हैं। श्रीरामुलु ने यह भी कहा कि अग्रवाल ने बाद में अपनी टिप्पणी वापस ले ली। श्रीरामुलु और अग्रवाल के बीच यह बातचीत पिछले नवंबर में तीन निर्वाचन क्षेत्रों में हुए उपचुनावों की समीक्षा के दौरान हुई।
भाजपा-जद-एस गठबंधन तीनों उपचुनाव हार गया, जिससे राज्य भाजपा नेतृत्व पर दबाव बढ़ गया। श्रीरामुलु प्रकरण ऐसे समय में सामने आया है जब भाजपा आलाकमान कर्नाटक इकाई में गुटबाजी को रोकने के लिए संघर्ष कर रहा है।
प्रदेश अध्यक्ष को चुनने के लिए चुनावों की हाल ही में घोषणा के कारण विधायक बसनगौड़ा पाटिल यत्नाल के खेमे ने पार्टी अध्यक्ष विजयेंद्र पर हमले तेज कर दिए हैं।
इस ताजा प्रकरण को कल्याण-कर्नाटक क्षेत्र के कुछ हिस्सों में राजनीतिक परिदृश्य पर हावी होने के रेड्डी के प्रयास का नतीजा माना जा रहा है। रेड्डी ने अपने कल्याण राज्य प्रगति पक्ष के टिकट पर 2023 का चुनाव जीता और बाद में 2024 के लोकसभा चुनावों से पहले पार्टी का भाजपा में विलय कर दिया था।