बता दें कि शहर कोतवाली क्षेत्र के आहोपट्टी गांव निवासी राम भजन यादव का 25 वर्षीय पुत्र मनोज शुक्रवार की देर शाम बाइक से शहर जा रहा था। गांव के पास ही वह एक वीआईपी के काफिले में शमिल स्कार्ट वाहन की चपेट में आ गया था। दुर्घटना के बाद काफिल रूका नहीं आगे बढ़ गया। दुर्घटना में घायल युवक की उसी रात उपचार के दौरान मौत हो गयी थी। घटना के बाद यह बताया गया कि योगी सरकार के वन मंत्री दारा सिंह चैहान के काफिले में शामिल स्कार्ट वाहन ने युवक को धक्का मारा था। दुघ्र्ाटना के बाद मंत्री ने संवेदनहीनता दिखाते हुए रूकने की भी जहमत नहीं उठाई और आगे बढ़ गए। इससे भजापा के मंत्री और सरकार की खूब किरकिरी हो रही थी।
यह भी पढ़ें- नहीं हुई अधिकारियों से कोई गलती, इस वजह से सिर्फ 40 से 50 पैसे ऋण हुआ माफ इसी बीच रविवार को पुलिस ने खुलासा किया कि दुर्घटना वाले दिन दारा सिंह चौहान आजमगढ़ में थे ही नहीं। काफिला नेता प्रतिपक्ष राम गोविंद चौधरी का था जो किसी कार्यक्रम में शामिल होने के लिए बलिया जा रहे थे। उन्हीं के काफिले के स्कार्ट वाहन से दुर्घटना हुई और नेता प्रतिपक्ष बिना रूके ही आगे बढ़ गए।
यह भी पढ़ें- शादी का झांसा देकर दुष्कर्म का आरोप, जिले की क्राइम की अन्य खबरें इसके बाद से ही जिले की राजनीति गर्म हो गई है। भाजपा के जिला महामंत्री बृजेश यादव ने कहा कि इस तरह की दुखद घटना पर भी राजनीति करना गलत है। भाजपा की सरकार है इसलिए कुछ लोगों ने सरकार को बदनाम करने की साजिश रची और मंत्री का नाम दुघर्टना से जोड़ दिया। अपर पुलिस अधीक्षक नरेंद्र प्रताप सिंह का कहना है कि किसी मंत्री की गाड़ी नहीं थी। जांच में साफ हो चुका है कि काफिला नेता प्रतिपक्ष का था।